स्वयंभू प्रगतिवादियों की हत्याओं से लाभ उठाने और सनातन संस्था को पीडित करने का प्रयास ! – अभय वर्तक, प्रवक्ता, सनातन संस्था

कॉ. पानसरे, डॉ. नरेंद्र दाभोलकर जैसे तथाकथित प्रगतिवादियों की हत्या के मामलों में जांच एजेंसियों पर भारी दबाव डाला गया। जांच एजेंसियों द्वारा की जा रही जांच पर ध्यान दिए बिना, सनातन संस्था पर प्रतिबंध लगाने की बार-बार मांग की गई।

Prayagraj Kumbh Parva 2025 : कुंभ क्षेत्र पदयात्रा में गूंजी हिन्दू राष्ट्र की हुंकार !

२२ जनवरी २०२५ को अयोध्या में श्री रामलला की स्थापना समारोह के एक वर्ष पूर्ण होने के शुभ अवसर पर, हिन्दू राष्ट्र की मांग को लेकर यहां ‘हिन्दू राष्ट्र पदयात्रा’ का आयोजन किया गया । इसके माध्यम से हिन्दू राष्ट्र की गर्जना पूरे कुंभ क्षेत्र में गूंज उठी ।

Prayagraj Kumbh Parva 2025 – HINDU RASHTRA ADHIVESHAN : महाकुंभपर्व में साधु-संतों का धर्माधिष्ठित हिन्दू राष्ट्र की स्थापना का निश्चय !

प्रयागराज में चल रहे महाकुंभपर्व के आरंभ से ही अनेक अनेक संत-महंतों तथा महामंडलेश्वरों में हिन्दू राष्ट्र का उद्घोष किया है । अब उसके आगे कदम बढाकर हिन्दू राष्ट्र की इस संकल्पना को साकार करने के लिए अनेक संत-महंत तथा महामंडलेश्वर इस अधिवेशन में एकत्रित हुए ।

मनुष्य भगवान बनने हेतु सनातन की प्रदर्शनी देखे ! – स्वामी शारदानंद, उपसचिव, रामकृष्ण आश्रम, कोलकाता

सनातन की ग्रंथ-प्रदर्शनी में इसका संपूर्ण ज्ञान उपलब्ध है, यह देखकर मैैं आनंदित हूं । सनातन संस्था का यह कार्य प्रशंसनीय है ।

सनातन की ग्रंथ-प्रदर्शनी स्थल पर सद्गुरुद्वयी के दर्शन कर आनंदित हुए साधक !

कुम्भ क्षेत्र में अध्यात्म का प्रसार हो, हिन्दुओं को धर्मशिक्षा मिले तथा हिन्दुओं में हिन्दू राष्ट्र के विषय में जागृति हो, इन उद्देश्यों से ‘सनातन संस्था वाराणसी’ एवं ‘सनातन संस्था गोवा’, इन संस्थाओं की ओर से भव्य ग्रंथ एवं फलक प्रदर्शनी लगाई गई है । सद्गुरुद्वयी ने २२ जनवरी को इस प्रदर्शनी का अवलोकन किया ।

सनातन संस्था की श्रीसत्‌शक्ति (श्रीमती) बिंदा नीलेश सिंगबाळजी एवं श्रीचित्‌शक्ति (श्रीमती) अंजली मुकुल गाडगीळजी की दैवी एवं ऐतिहासिक प्रयागराज यात्रा !

सनातन संस्था के संस्थापक सच्चिदानंद परब्रह्म डॉ. आठवलेजी की उत्तराधिकारिणियां श्रीसत्‌शक्ति (श्रीमती) बिंदा नीलेश सिंगबाळजी एवं श्रीचित्‌शक्ति (श्रीमती) अंजली मुकुल गाडगीळजी (सद्गुरुद्वयी) ने २१ एवं २२ जनवरी को तीर्थराज प्रयागराज की यात्रा की । इस यात्रा में उन्होंने विभिन्न स्थानों का अवलोकन किया ।

स्वयंभू शिवलिंग निर्मित होने का अध्यात्मशास्त्रीय आधार

जहां पूर्ण अंधकार होता है, वहीं प्रकाश का महत्त्व समझ में आता है । महत्त्व ज्ञात होने के उपरांत ही प्रकाश का कार्य प्रारंभ होता है, ऐसा ही ईश्वरीय कार्य के विषय में कह
सकते हैं ।

सनातन की ग्रंथमाला : देवी-देवताओं की उपासना

भगवान शिवसम्बन्धी अध्यात्मशास्त्रीय विवेचन , भगवान शिव : अध्यात्मशास्त्र (आरती एवं शिवचालीसा सहित)

सनातन संस्था द्वारा इंदौर (मध्य प्रदेश) में ग्रंथ-प्रदर्शनी का आयोजन

इंदौर के दशहरा मैदान में तरुण जत्रा (फूड फेस्टिवल) का आयोजन हुआ था । इस मेले में सनातन संस्था द्वारा आध्यात्मिक एवं राष्ट्ररक्षा के विषयों पर ग्रंथों की प्रदर्शनी लगाई गई । इस ग्रंथ-प्रदर्शनी को जिज्ञासुओं का अच्छा प्रतिसाद मिला ।

Prayagraj Kumbh Parva 2025 : कुंभमेले में १४ दिनों में सनातन ग्रंथप्रदर्शनी पर २५ सहस्र से भी अधिक जिज्ञासुओं आए !

ग्रंथप्रदर्शन देखकर जिज्ञासु इतने प्रभावित हो रहे हैं कि कुछ तो अपनी मातृभाषा के ग्रंथों के पूरे संच की मांग कर रहे हैं, तो कुछ ग्रंथ प्रदर्शन को भेट देनेवाले जिज्ञासु पुन: पुन: नए जिज्ञासुओं को लेकर ग्रंथ प्रदर्शन स्थल पर आ रहे थे ।