राजनीति में सक्रिय लोग मंदिरों के न्यासी नहीं हो सकते !
वैसे तो देवता के भक्तों को ही मंदिर का न्यासी होने का अधिकार दिया जाना चाहिए । अब हिन्दुओं को सरकार और न्यायालय के समक्ष यह मांग मजबूती से करना आवश्यक !
वैसे तो देवता के भक्तों को ही मंदिर का न्यासी होने का अधिकार दिया जाना चाहिए । अब हिन्दुओं को सरकार और न्यायालय के समक्ष यह मांग मजबूती से करना आवश्यक !
मद्रास उच्च न्यायालय ने न्यायालय के एक अधिकारी को पद का दुरुपयोग कर एक व्यक्ति के साथ ४० सहस्र रुपए की धोखाधडी करने के प्रकरण में ३ वर्ष सश्रम कारावास का दंड सुनाया है ।
बस चालक ने यात्री को टिकट का एक रुपया वापस न देने से यात्री ने ग्राहक न्यायालय में शिकायत की । इसके परिणामस्वरुप न्यायालय ने ग्राहक को ३ सहस्र रुपए की *हानि* भरपाई देने का आदेश दिया ।
श्रीकृष्णजन्मभूमि मुकदमे की सुनवाई के समय भगवान केशव महाराज की मूर्ति न्यायालय में लाई गई । २३ जनवरी के दिन इस प्रकरण में सुनवाई हुई थी । उस समय इस प्रकरण में ६ वें क्रमांक के वादी भगवान केशव महाराज के अनुपस्थित होने की बात न्यायालय ने कही थी ।
‘इसके पूर्व भी राजनैतिक पार्श्वभूमि वाले व्यक्तियों की न्यायमूर्ती के पद पर नियुक्ति हुई है ।’ केवळ २२ मिनट तक चली सुनवाई के उपरांत नयायलय को यह याचिका अस्वीकार करनी पडी ।
ऐसी घटनाओं में इसीप्रकर एवं इतनी ही शीघ्र गति से दंड मिलता रहा, तो अपराधियों को अपराध करने से पूर्व सोचना पडेगा !
तब भी भारत में अपराधिक गतिविधियां अल्प होने के स्थान पर बढती ही जा रही हैं, यह सब कब रुकेगा ?
देहली के श्री. सुभाष अग्रवाल, सूचना अधिकार कार्यकर्ता ने ‘देहली वक्फ बोर्ड’ से पूछा कि अब तक विविध इमामों को कितना वेतन दिया गया है ?’, इसकी जानकारी मांगी थी; परंतु अनेक दिन बीत जाने पर भी उन्हें इसकी जानकारी नहीं दी गई ।
जिहादी संगठन के साथ काम करने वालों को आजीवन कारावास के लिए जेल में डाल देना चाहिए !
क्या बीबीसी कभी ब्रिटिश के साम्राज्यवाद पर डॉक्युमेंट्री बनाएगी ? बीबीसी ने, गोधरा में जिन कारसेवकों को जलाकर मार डाला गया था, उनके परिवारों का साक्षात्कार (इंटरव्यू) क्यों नहीं लिया ?