(कहते हैं) ‘मनुस्मृति तथा रामचरितमानस द्वेष फैलाते हैं, इसलिए उन्हें जला दें ! – बिहार के शिक्षामंत्री चंद्रशेखर
यदि एक राज्य के शिक्षामंत्री ही ऐसा कहें, तो राज्य की शिक्षा कैसी होगी ? इसकी कल्पना करना असंभव है !
यदि एक राज्य के शिक्षामंत्री ही ऐसा कहें, तो राज्य की शिक्षा कैसी होगी ? इसकी कल्पना करना असंभव है !
डॉ. सुब्रह्मण्यम स्वामी ने इस संदर्भ में जानकारी देते हुए कहा, ‘अभी तक केंद्र सरकार द्वारा सर्वोच्च न्यायालय में इस संदर्भ में शपथपत्र प्रस्तुत नहीं किया गया है’ !
न्यायालय को ऐसा कहना पडे, यह तामिलनाडू सरकार के लिए लज्जास्पद !
भारत का बंटवारा धर्म के आधार पर हुआ और पाकिस्तान नाम के इस्लामी देश का निर्माण हुआ । उसने धर्म के आधार पर प्रत्येक काम किए, ध्वज भी धर्म के आधार पर हरा रखा । भारत धर्म के आधार पर हिन्दू राष्ट्र होना अपेक्षित होते हुए भी तत्कालीन कांग्रेसी नेताओं ने इसे धर्मनिरपेक्ष कर भारत के पुरातन भगवा ध्वज को पीछे डालकर तिरंगा चुना । यदि उस समय भारत हिन्दू राष्ट्र हो जाता, तो भगवा ही राष्ट्रध्वज होता !
जिहादी आतंकवाद के साथ अब खालिस्तानी आतंकवाद बढ रहा है । इसकी ओर सरकार को गंभीरतापूर्वक देखकर उसकी जडें दृढ होने से पूर्व ही उन्हें नष्ट करना आवश्यक है !
राम मंदिर को माध्यम बनाकर राजनीतिक लाभ उठानेवालों के मैं विरुद्ध हुं । भाजपा राम मंदिर का उपयोग राजनीतिक लाभ के लिए कर रही है सिद्धरमैया ने यह आरोप लगाया । सोशल मीडिया से बोलते हुए उन्होंने कहा कि भारत के संविधान में सर्व धर्म समान हैं ।
‘लव जिहाद’ द्वारा होनेवाले धर्मांतरण का समर्थन कौन कर रहा है, अब इसके द्वारा यह स्पष्ट दिख रहा है, इस पर ध्यान दें !
जनता के चयन किए हुए जन प्रतिनिधि जनता के व्यय से चलनेवाले निगम सभागृह में हो-हल्ला कर करोडों रुपए उडाते (फिजूलखर्ची) हैं, यह लोकतंत्र के लिए हानिकारक ही है ! ऐसे जनप्रतिनिधियों की सदस्यता रद्द करने का अधिकार जनता को मिलना ही चाहिए !
‘लव जिहाद’ का समर्थन करनेवाले एम.आइ.एम. के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी का वक्तव्य !
लोकतंत्र के नाम पर हिंसा करनेवाले ऐसे मवाली कार्यकर्ताओं पर प्रतिबंध लगाना चाहिए !