असम की स्थिति कश्मीर जैसी नहीं होगी, इसके लिए मुसलमान हिन्दुओं को आश्वस्त करें !

क्या अभी तक असम के किसी मुख्यमंत्री ने इतनी कठोरता से मुसलमानों को सुनाया था ? असम के हिन्दुओं की रक्षा करने के लिए सरमा कठोर कदम उठाएं, यही हिन्दुओं की भावना है !

कश्मीरी हिन्दुओं पर किए गए अत्याचारों के लिए कश्मीरी मुसलमानों को उनसे हाथ जोडकर क्षमा मांगनी चाहिए !

केवल हाथ जोडकर क्षमा मांगने से कुछ नहीं होगा और कश्मीरी मुसलमान ऐसी क्षमा मांगेंगे, इसकी भी संभावना नहीं है । इसलिए अब केंद्र सरकार को ही अब प्रधानता लेकर इन अत्याचारों में संलिप्त मुसलमानों को दंड मिलने हेतु प्रयास करने चाहिए, तभी जाकर वास्तव में कश्मीरी हिन्दुओं को न्याय मिलेगा !

रशिया-यूक्रेन के युद्ध पर बोलनेवाले कश्मीर में हिन्दुओं पर हुए अत्याचारों पर क्यों नहीं बोलते ? – प्रा. रेणुका धर बजाज, देहली विश्वविद्यालय

३२ वर्ष पूर्व भारत के एक राज्य में हिन्दुओं के साथ क्या हुआ ?, यह भारतीयों को अभी तक यह ज्ञात नहीं हैै । वास्तव में, भारत के हिन्दुओं ने कश्मीरी हिन्दुओं के लिए कुछ नहीं किया; इसलिए अब तो हिन्दुओं को जागृत होकर कश्मीरी हिन्दुओं को न्याय दिलाना चाहिए ।

‘द कश्मीर फाइल्स’ के निमित्त…

बॉलीवुड में प्रतिवर्ष गुंडे, माफिया, ‘ड्रग्स पेडलर’, गंगूबाई जैसे वेश्यागृहों की मालकिन का उदात्तीकरण करनेवाले अनेक ‘ड्र्रामा फिल्म्स’ प्रदर्शित होती हैं । ऐसे चलचित्र देखने की अपेक्षा भारतीय ‘द कश्मीर फाइल्स’ देखना देशहितकारी सिद्ध होगा ।

जिहादियों की क्रूरता और हिन्दुओं का आक्रोश : ‘द कश्मीर फाइल्स’

इस फिल्म में पग-पग पर ‘पूरे विश्व को कश्मीरी हिन्दुओं की व्यथा ज्ञात हो’; इसके लिए किए भागीरथी प्रयास दिखाई देते हैं । जिहादी आतंकी और उनके संरक्षकों (उदा. राज्यकर्ता, निष्क्रिय अधिकारी, बुद्धिजीवी, धर्मनिरपेक्षतावादी इत्यादि) के विरुद्ध असंतोष जागृत करने में यह फिल्म सफल रही है ।

‘द कश्मीर फाइल्स’ चलचित्र को पूरे राज्य में करमुक्त किया जाए !

‘द कश्मीर फाइल्स’ चलचित्र को उत्तर प्रदेश राज्य में ‘करमुक्त’ करने की घोषणा कर सरकार कश्मीरी हिन्दुओं के प्रति अपनी संवेदना प्रकट करें, ऐसी मांग करते हुए हिन्दू जनजागृति समिति द्वारा वाराणसी में जिलाधिकारी तथा झारखंड राज्य के धनबाद में स्थित उपायुक्त को ज्ञापन दिया गया ।

(कहते हैं) कश्मीर के हिन्दुओं पर अत्याचार के लिए यदि मैं उत्तरदायी हुआ तो, मुझे फांसी दो ! – फारुख अब्दुल्ला

ऐसा प्रतिपादन कर, फारुख अब्दुल्ला स्वयं के लिए सहानुभूति प्राप्त कर रहें हैं । हिन्दुओं पर किए अत्याचारों के लिए कौन उत्तरदायी हैं, यह जनता समझ चुकी है ।

(कहते हैं) ‘द कश्मीर फाईल्स’ चलचित्र के द्वारा गंगा – जमुनी संस्कृति को तोडने का काम हो रहा है !

इस देश में तथाकथित गंगा- जमुनी संस्कृति के नाम पर अभी तक हिन्दुओं पर अत्याचार करने का काम हुआ और आज भी हो रहा है । हिन्दुओं को धर्माधों की ऐसी फंसाने वाली बातें समझकर, उन्हें सत्य गंभीरता से समझाना चाहिए !

(कहते हैं) ‘यह कहा जा रहा है कि, राष्ट्रवादी होने के लिए हिन्दू होना अनिवार्य है !’

भारत में रहते हुए, कश्यप ने ‘पाकिस्तान जिंदाबाद’ कहने वालों के संबंध में बोलने के लिए कभी अपना मुंह नहीं खोला । भारतीय जनता को इसी से पता चलता है कि, कौन राष्ट्रवादी है और कौन देशद्रोही !

कुशीनगर (उत्तर प्रदेश) में ‘द कश्मीर फाईल्स’ चलचित्र देखकर घर जानेवाले तीन हिन्दु युवकों पर धर्मांन्धों का आक्रमण !

जो कश्मीर में हिन्दुओं के सन्दर्भ में हुआ, वही आज उत्तर प्रदेश में हो रहा है तो यह हिन्दुओं के लिए लज्जास्पद ! सरकार को इसका त्वरित अभिज्ञान लेकर सम्बन्धित लोगों पर कठोर कारवाई करनी चाहिए !