इंदौर (मध्य प्रदेश) एवं कांदळी (पुणे) में भावपूर्ण वातावरण में मनाई गई प.पू. भक्तराज महाराजजी की गुरुपूर्णिमा !

२० जुलाई को श्री भक्तवात्सल्य आश्रम से गुरुपादुकाओं की पालकी निकाली गई । इस पालकी में प.पू. अनंतानंद साईशजी (प.पू. भक्तराज महाराजजी के गुरु), प.पू. भक्तराज महाराजजी एवं प.पू. रामानंद महाराजजी (प.पू. भक्तराज महाराजजी के उत्तराधिकारी) की चरण-पादुकाएं रखी गई थीं ।

पूर्व भारत में हिन्दू जनजागृति समिति की ओर से विविध स्थानों में गुरुपूर्णिमा भावपूर्ण वातावरण में संपन्न !

कतरास की गुरुपूर्णिमा महोत्सव में संतों का मार्गदर्शन

अपने आचरण से संस्कृति की रक्षा तथा धर्मपालन करेंगे ! – सद्गुरु नीलेश सिंगबाळ, धर्मप्रचारक, हिन्दू जनजागृति समिति

उत्तर प्रदेश तथा बिहार के पाटलीपुत्र, समस्तीपुर एवं मुजफ्फरपुर में गुरुपूर्णिमा महोत्सव भावपूर्ण वातावरण में संपन्न

देहली, उत्तर प्रदेश एवं हरियाणा में सनातन संस्था एवं हिन्दू जनजागृति समिति की ओर से गुरुपूर्णिमा महोत्सव मनाया गया !

सनातन संस्था एवं हिन्दू जनजागृति समिति की ओर से देहली एवं उत्तर प्रदेश के मथुरा, नोएडा एवं फरीदाबाद (हरियाणा) में २१ जुलाई को भावपूर्ण वातावरण में गुरुपूर्णिमा महोत्सव संपन्न हुआ । महोत्सव का आरंभ श्री व्यास पूजन से हुआ । इस अवसर पर सनातन संस्था के प्रेरणास्रोत प.पू. भक्तराज महाराजजी की प्रतिमा का पूजन किया गया ।

सनातन संस्‍था की ओर से पूरे देश में ७७ स्थानों पर ‘गुरुपूर्णिमा महोत्‍सव’ भक्‍तिमय वातावरण में मनाया गया !

२१ जुलाई २०२४ को सनातन संस्‍था की ओर से पूरे देश में ७७ स्थानों में ‘गुरुपूर्णिमा महोत्सव’ भावपूर्ण वातावरण में मनाया गया । महोत्सव के आरंभ में श्री व्‍यासपूजा एवं सनातन संस्था के आस्था के केंद्र प.पू. भक्‍तराज महाराजजी की प्रतिमा का पूजन किया गया ।

हिन्दू धर्म एवं हिन्दू राष्ट्र के कार्य के लिए त्याग करना ही कालानुसार गुरुतत्त्व को अपेक्षित गुरुदक्षिणा है !

गुरुपूर्णिमा गुरु के प्रति कृतज्ञता व्यक्त करने एवं गुरुकार्य की वृद्धि के लिए त्याग करने का संकल्प लेने का दिन है । व्यापक स्वरूप का गुरुकार्य हिन्दू धर्म का कार्य है एवं वर्तमान कालानुसार व्यापक गुरुकार्य धर्मसंस्थापना का कार्य अर्थात हिन्दू राष्ट्र की स्थापना का कार्य है ।

अर्पणदाताओं, गुरुपूर्णिमा के उपलक्ष्य में धर्मकार्य हेतु धन अर्पित कर गुरुतत्त्व का लाभ उठाओ !

गुरुपूर्णिमा के दिन गुरु का कृपाशीर्वाद तथा उनसे प्रक्षेपित शब्दातीत ज्ञान सामान्य की अपेक्षा सहस्र गुना कार्यरत होता है । अतः गुरुपूर्णिमा के उपलक्ष्य में गुरुसेवा एवं धन का त्याग करनेवाले व्यक्ति को गुरुतत्त्व का सहस्र गुना लाभ होता है ।

गुरुपूर्णिमा निमित्त सच्चिदानंद परब्रह्म डॉ. आठवलेजी की आध्यात्मिक उत्तराधिकारिणिया श्रीसत्‌शक्ति (श्रीमती) बिंदा सिंगबाळजी एवं श्रीचित्‌शक्ति (श्रीमती) अंजली मुकुल गाडगीळजी का शुभ संदेश !

गुरु को व्यापक धर्मकार्य प्रिय है । वह लगन से करना सच्ची ‘गुरुभक्ति’ है । यह कार्य करते समय कोई भी संदेह न रखना सच्ची गुरुनिष्ठा है एवं ‘यह धर्मकार्य परिपूर्ण करने से मेरी आत्मोन्नति निश्चित ही होगी’, यही ‘गुरु के प्रति’ श्रद्धा है ! इसीलिए गुरुपूर्णिमा से श्री गुरु के प्रति निष्ठा, श्रद्धा एवं भक्ति बढाएं ।

गुरुपूर्णिमा महोत्सव २०२४ के उपलक्ष्य में निमंत्रण

गुरुपूर्णिमा के दिन १००० गुना सक्रिय रहनेवाले गुरुतत्त्व का लाभ सभी को हो, इस हेतु सनातन संस्था एवं हिन्दू जनजागृति समिति गुरुपूर्णिमा महोत्सव का आयोजन कर रहे हैं । इस महोत्सव में सम्मिलित होने हेतु गुरुपूर्णिमा स्थल के पते एवं संपर्क क्रमांक आगे देखें ।

देहली, उत्तर प्रदेश, हरियाणा, राजस्थान में गुरुपूर्णिमा महोत्सव !

हिन्दू जनजागृति समिति द्वारा देहली के कालका जी के श्री लक्ष्मीनारायण मंदिर (सनातन धर्म मंदिर), नोएडा (उत्तर प्रदेश) के सेक्टर ५६ के श्री लक्ष्मीनारायण मंदिर, फरीदाबाद (हरियाणा) की श्री सनातन धर्म मंदिर सभा एवं भीलवाडा (राजस्थान) की भारत विकास परिषद भवन में भावपूर्ण वातावरण में गुरुपूर्णिमा महोत्सव मनाया गया ।