जापान में बालकों के विचित्र नामों के विरुद्ध सरकार कानून बनाएगी !

अध्यात्मशास्त्र के अनुसार शब्द, स्पर्श, रूप, रस, गंध एवं उनकी शक्ति एकत्रित होती है । इस कारण बालकों के सात्त्विक एवं देवताओं के नाम रखने से उन्हें उसका लाभ होता है ।

भारत के बाहर रहकर देश विरोधी कार्यवाहियां करनेवालों पर कार्यवाही करने के लिए नई धारा परित होगी !

संसद के शीतकालीन सत्र में भारत के बाहर रहकर भारत के विरोध में बोलने वाले, अपराध करने के लिए भडकाने वालों पर कार्यवाही कर भारत में लाने के संबंध में संबंधित कानून में बदलाव किया जाने वाला है ।

Law Against Deepfake : ‘डीपफेक वीडियो’ के विरोध में जल्द ही कानून बनेगा !

‘डीपफेक वीडियो’, सिंथेटिक वीडियो (मूल चित्र बदलकर बनाया गया वीडियो) और झूठे वृत्त प्रसारित करने वाले प्रयोगकर्ताओं पर कार्यवाही नहीं की, तो इसके लिए सामाजिक माध्यम ही उत्तरदायी होंगे ।

११ अमेरिकी सांसदों द्वारा पाकिस्‍तान को वित्तीय सहायता रोकने की मांग !

भारत के कितने हिन्‍दू प्रतिनिधि पाकिस्‍तान और बांग्‍लादेश में हिन्‍दुओं पर हो रहे अत्‍याचारों के विरुद्ध आवाज उठाते हैं ?

SC/ST Act, Madhya Pradesh High Court : कर्मचारी कक्ष में जातिवाचक उल्लेख करना अपराध नहीं ! – मध्य प्रदेश उच्च न्यायालय 

पुलिस ने कमलेश शुक्ला और आशुतोष तिवारी इन दोनों के विरोध में अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति कानून के अंतर्गत अपराध प्रविष्ट किया था ।

Colombia ‘junk food law’ : विश्‍व में पहली बार कोलंबिया ने बनाया ’जंक फूड’ को लेकर कानून !

’जंक फूड’ स्‍वास्‍थ्‍य पर प्रतिकूल प्रभाव डालता है, यह विश्‍वप्रसिद्ध होते हुए भी इसे गंभीरता से नहीं लिया जाता, यह लज्‍जाजनक है !

सही पहचान छुपा कर विवाह करने पर अथवा शारीरिक संबंध रखने पर १० वर्ष की होगी सजा !

अपनी सही पहचान छुपाकर किसी महिला से विवाह करना अथवा उसके साथ शारीरिक संबंध रखना अब अपराध होगा । भारतीय न्याय संहिता की धारा ६९ के अनुसार ऐसा करना प्रताडना माना जाएगा और इस प्रकरण में १० वर्ष की सजा दी जाएगी ।

उत्तराखंड में अब प्रत्‍येक मस्‍जिद, दरगाह एवं मदरसा को आय तथा संपत्ति की जानकारी देनी होगी ! 

पूरे देश के सभी राज्‍यों में मस्‍जिद, दरगाह एवं मदरसा को इस प्रकार की जानकारी देने के लिए केंद्र सरकार को राष्‍ट्र-स्‍तर पर कानून बनाना चाहिए, ऐसी राष्ट्रप्रेमियों की मांग है !

Same Sex Marriage : सर्वोच्च न्यायालय का समलैंगिक विवाह को मान्यता देने से नकार !

विधि बदलने का काम संसद का है, न्यायालय का नहीं! – सर्वोच्च न्यायालय ने किया स्पष्ट !

भारतीय दंड संहिता तथा ‘श्री ४२०’ !

राष्ट्रीयता को आधारभूत मानकर कानून एवं न्यायव्यवस्था में परिवर्तन लाना तो आवश्यक है ही; परंतु उसके साथ ही ‘जूता जापानी, पतलून इंग्लिस्तानी’ गीत में तो ठीक हैं; तथापि न्यायव्यवस्था में वेशभूषा एवं हृदय, दोनों भारतीय संस्कृति के अनुसार हों, तो न्यायव्यवस्था की स्थिति में सुधार आएगा !