मुजफ्फरपुर (बिहार) में हिन्दू समन्वय समिति के माध्यम से किया जा रहा राष्ट्र एवं धर्म कार्य !

यह सीतामाता की जन्मभूमि है, इस पर मुझे गर्व है; परंतु इस जिले का नाम पूछा जाए, तो दुर्भाग्यवश मुझे ‘मुजफ्फरपुर’ बताना पडता है, इसका मुझे बहुत बुरा लगता है; क्योंकि यह नाम एक विदेशी आक्रांता के नाम पर आधारित है ।

पानी के प्लास्टिक के बोतलों की स्वच्छता, उससे होनेवाली हानि तथा बीमारियां

बच्चों को विद्यालय ले जाने हेतु स्टील अथवा अच्छी प्लास्टिक की बोतलें दें, जिन्हें प्रतिदिन स्वच्छ करना आवश्यक है; क्योंकि बच्चे बोतल को मुंह लगाकर पानी पीते हैं ।

वास्तुदोष निवारण हेतु संपन्न किए गए रत्नसंस्कार अनुष्ठान से संबंधित शोधकार्य !

रत्नसंस्कार अनुष्ठान करने से वास्तु पर सकारात्मक परिणाम होते हैं, यह इस शोध से प्रमाणित हुआ । इस शोध के अंतर्गत किए गए परीक्षणों में प्राप्त निरीक्षणों का विवेचन इस लेख में दिया गया है

रामराज्य के ध्येय को साकार करने हेतु प्रत्येक हिन्दू उपासना का बल बढाए ! – हिन्दू जनजागृति समिति

वाराणसी में रामनवमी के अवसर पर ‘हिन्दू एकता शोभायात्रा’ उत्साहपूर्ण वातावरण में संपन्न !

इंदौर (मध्य प्रदेश) स्थित व्यवसायी अभय निगम ने गोवा में सनातन आश्रम की सद्भावना यात्रा की है।

मध्य प्रदेश के इंदौर शहर के पेशेवर श्रीमान अभय निगम ने हाल ही में गोवा के रामनाथी स्थित सनातन आश्रम का सद्भावना दौरा किया। दौरे के समय सनातन साधक श्री अभिजीत सावंत ने उन्हें आश्रम में चल रहे राष्ट्र और धर्म के कार्यों की जानकारी दी।

‘हिन्दू नववर्ष कैसे मनाएं ?’, इस विषय पर राजस्थान में हिन्दू जनजागृति समिति द्वारा प्रबोधन !

चैत्र शुक्ल प्रतिपदा के दिन हिन्दू जनजागृति समिति की ओर से यहां स्थानीय मंदिर में सामूहिक रूप से ब्रह्मध्वज का रोपण किया गया । प्रार्थना एवं मंत्रों के उच्चारण के साथ में प्रसाद वितरण कर यह कार्यक्रम उत्साहपूर्वक संपन्न हुआ ।

सनातन संस्था के रजत जयंती महोत्सव के उपलक्ष्य में झारखंड जिले में कई स्थानों पर बालसंस्कार वर्ग का आयोजन

झारखंड जिले में कई स्थानों पर बालसंस्कार वर्ग का आयोजन किया गया ।

जयपुर के गगन भारती पब्लिक स्कूल में तनावमुक्ति विषय पर कार्यशाला !

तनाव के लिए हम बाह्य परिस्थिति या किसी व्यक्ति को दोष देते हैं; परंतु प्रत्यक्ष में हम जीवन में केवल स्वयं में परिवर्तन के प्रयास कर सकते हैं और तनावमुक्त हो सकते हैं । इसलिए सनातन संस्था अपने दुर्गुण एवं अहंकार निर्मूलन द्वारा आनंदमय जीवनयापन का मार्गदर्शन करती है ।

Samudra Manthan : समुद्रमंथन के ‘वासुकी’ नाग के इतिहास पर विज्ञान का समर्थन !

हिन्दू धर्मग्रंथ में ५० फुट लंबाई के वासुकी नाग के संदर्भ में एक प्रसंग का वर्णन किया गया है । इस नाग का उपयोग देव एवं दानव के सामूहिक समुद्रमंथन में डोरी के रूप में किया गया था। भगवान शिव ने वासुकी को अपने गले में धारण किया था।

अक्षय तृतीया के अवसर पर उससे संबंधित धार्मिक कृत्य कैसे करें एवं उसका लाभ क्या है ?

हिन्दू धर्म के साढे तीन शुभमुहूर्ताें में से एक है वैशाख शुक्ल तृतीया । इसीलिए इसे ‘अक्षय तृतीया’ कहते हैं । इस तिथि पर कोई भी समय शुभमुहूर्त ही होता है । इस वर्ष अक्षय तृतीया १० मई २०२४ को हैं ।