लीना मणिमेकलई निर्देशित फिल्म के पोस्टर के विरोध में शुरु किए ऑनलाइन अभियान को हिन्दुओं का अच्छा प्रतिसाद
हिन्दूविरोधी लीना मणिमेकलई पर कार्यवाही होने की मांग को लेकर शुरु किए गए इस ऑनलाइन अभियान में आप भी अपना योगदान देकर धर्महानि रोकें !
हिन्दूविरोधी लीना मणिमेकलई पर कार्यवाही होने की मांग को लेकर शुरु किए गए इस ऑनलाइन अभियान में आप भी अपना योगदान देकर धर्महानि रोकें !
भारत में, पाकिस्तान जैसे ईशनिंदा विरोधी कानून जैसा कोई कानून नहीं है, इसलिए देवताओं का अपमान करने वालों को खुला छोड दिया जाता है ! केंद्र सरकार को अब फांसी का दंड देनेवाला कानून तुरंत बनाना चाहिए, ऐसा हिन्दुओं को लगता है !
न्यायालय के आदेश का अपमान करने वालों के विरुद्ध देश का एक भी धर्मनिरपेक्षतावादी राजनीतिक पक्ष तथा संगठन मुंह नहीं खोलते, यह ध्यान में ले !
हिन्दू विरोधी चित्रकार एम.एफ. हुसैन द्वारा हिन्दू देवी-देवताओं की अश्लील और नग्न चित्र चित्रित किए जाने के उपरांत देश भर में १२,०० शिकायतें प्रविष्ट की गईं, जबकि ५ स्थानों पर अपराध प्रविष्ट किए गए। जनता यह नहीं भूली है कि उस समय देहली में याचिकाओं की संयुक्त सुनवाई हुई थी !
‘‘कर्नाटक राज्य से आरंभ हुआ ‘हिजाबविरोधी आंदोलन’ कुछ दिन उपरांत राष्ट्रीय विषय बना । इसमें कुछ मुसलमान छात्राओं ने ‘हम हिजाब पहनेंगे ही’, इस मांग को लेकर कर्नाटक उच्च न्यायालय में याचिका प्रविष्ट की । इस याचिका के पक्ष में लडने के लिए अनेक अधिवक्ता खडे रहे, तो सरकार के पक्ष में और विरोध में लडने के लिए अत्यंत अल्प संख्या में अधिवक्ता थे ।
‘द कश्मीर फाइल्स’ नामक चलचित्र में कश्मीरी हिन्दुओं पर आई भीषण परिस्थिति केवल ५ प्रतिशत ही दिखाई गई है । कश्मीर में केवल कश्मीरी हिन्दुओं के पुनर्वसन का प्रश्न है, इस भ्रम में न रहें । कश्मीर में भारतीय राष्ट्रवाद निर्माण होना आवश्यक है ।
‘दार-उल-इस्लाम’ धर्मांधों की संकल्पना है इसलिए उन्हें भारतभूमि को ‘गजवा-ए- हिंद’ बनाना है । अत: धर्मांधों द्वारा ‘लैंड जिहाद’ का षड्यंत्र रचा जा रहा है । यह रोकने के लिए ‘सब भूमी गोपाल की’ अर्थात ‘सब भूमि हमारी है’, यह तत्त्व मन में बिंबित करना होगा ।
‘प्रसिद्धि और पैसे मिलेंगे, इसलिए हिन्दू धर्म और धर्माभिमानियों की निंदा करो’ ऐसे षड्यंत्र आजकल बडी संख्या में बढ गए हैं । ‘माध्यमों के द्वारा होनेवाली अपकीर्ति को अनदेखा करना’, ऐसी भूमिका कुछ संगठनों की है । इसलिए ऐसे प्रसारमाध्यम अधिक फलते हैं; परंतु सनातन संस्था ने प्रारंभ से ही ऐसे माध्यमों के विरोध में कानूनी लडाई लडने की भूमिका निभाई है ।
‘बेली डान्स’ एक प्राचीन नृत्य है । सदियों से मध्य पूर्व के विवाह समारोहों और पार्टियों में यह नृत्य किया जाता है । `बेली डान्स’ में कलाकार छोटे कपडे पहनकर नृत्य करते हैं ।
हिन्दुओं के देवताओं की अवमानना करनेवालों का समर्थन करनेवालों का हिन्दू संपादक बहिष्कार करें, ऐसा हिन्दुओं को लगता है !