तिरंगा यात्रा में सहभागी होने के कारण राष्ट्र विरोधी मुसलमानों ने हिन्दुओं के घर पर किया पथराव !

देश को स्वतंत्र हुए ७५ वर्ष हुए, तो भी राष्ट्रीय त्योहारों का विरोध करने वाले आज भी बडी संख्या में हैं, यह सभी पक्ष के शासनकर्ताओं के लिए लज्जास्पद

वाराणसी और बरेली में मुहर्रम की फेरी के समय धर्मांधों ने की हिंसा !

हिन्दुओं की धार्मिक फेरियों के समय धर्मांध हिन्दुओं पर आक्रमण करते हैं एवं अपनी धार्मिक फेरियों के समय भी हिन्दुओं पर आक्रमण करते हैं ! ‘देश में मुसलमान असुरक्षित हैं’, ऐसा कहनेवाले अब कहां हैं ?

रा.स्व.संघ के पदाधिकारियों पर आक्रमण; सय्यद वसीम को बंदी !

हिन्दुबहुल भारत में हिन्दुओं के नेता असुरक्षित ! हिन्दुत्वनिष्ठों पर हो रहे आक्रमण रोकने के लिए हिन्दू राष्ट्र की स्थापना करना ही एकमात्र उपाय !

राजस्थान में धर्मांध ससुर द्वारा अपनी गर्भवती बेटी एवं हिन्दू जवाई को वाहन के नीचे कुचलकर मार डालने का प्रयास !

प्रेम का कोई  रंग नहीं होता’, इस प्रकार ‘लव-जिहाद’ का विरोध करनेवाले तथा हिन्दुओं को नि:शुल्क परामर्श देनेवाले इस समय कौन से बिल में छुप जाते हैं ?

नरेल (बांगलादेश) में हुए आक्रमण में सत्ताधारी अवामी लीक पक्ष के नेताओं का हाथ

बांगलादेश के सत्ताधारी पक्ष अवामी लीग के नेता ही हिन्दुओं पर आक्रमण करते हैं । नरेंद्र मोदी को बांगलादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना पर दबाव बनाकर वहां के हिन्दुओं को सुरक्षा उपलब्ध करने के लिए प्रयत्न करने चाहिए, यही राष्ट्रनिष्ठ हिन्दुओं की अपेक्षा है !

तमिलनाडू में प्रसिद्ध हिंदू व्यक्ति की हत्या करने का षड्यंत्र उजागर

देश में धर्मांधों द्वारा हिंदुओं की एकेक कर हत्या करने का षड्यंत्र रचा गया है, इस घटना से ऐसा ध्यान में आ रहा है । ऐसी घटनाओं का सामना करने हेतु हिंदुओं को स्वसुरक्षा प्रशिक्षण लेना आवश्यक है !

बिहार के १५ सहस्र मुसलमान युवकों को देश में अराजकता निर्माण करने हेतु दिया शस्त्र-अस्त्र का प्रशिक्षण !

पता नहीं ऐसे लोगों से होनेवाले अक्रमण रोकने के लिए सरकार उनपर कार्रवाई कब करेगी ? और उन्हें शिक्षा कब देगी ?

सत्ताधारी झारखंड मुक्ति मोर्चा के स्थानीय नेता अकबर खान ने हिन्दू शिक्षक को विद्यालय में घुसकर मारा !

सत्ताधारी पक्ष के गुंडागर्दी करने वाले नेता ! एक शिक्षक को विद्यालय में घुसकर और वह भी विद्यार्थियों के सामने मारने का साहस होता ही कैसे है ? क्या अब इस विषय में धर्मनिरपेक्षतावादी संगठन और पक्ष मुंह खोलेंगे ?

बरेली (उत्तरप्रदेश) के एक गांव में धर्मांध मुसलमानों द्वारा कावड यात्रियों पर पत्थर फेंके गए

कावड यात्रा पर बार-बार होने वाले आक्रमण रोक न पाना पुलिस-प्रशासन के लिए लज्जास्पद ! ऐसे आक्रमण रोकने के लिए अब हिन्दुओं को संगठित होना चाहिए !

विभाजन के समय यह स्पष्ट कर दिया जाना चाहिए था, कि जो मुसलमान ‘दारुल इस्लाम’ चाहते हैं, वे मुसलमान भारत में नहीं रह सकते ! डॉ. सुब्रह्मण्यम स्वामी

हिन्दुओं ने भी गलती की है । १९४७ में विभाजन के समय यह स्पष्ट कर दिया जाना चाहिए था कि जो मुसलमान ‘दारुल इस्लाम’ चाहते हैं, वे भारत में नहीं रह सकते ।