(कहते हैं) ‘हिन्दुओं ने स्वयं ही उनके मंदिरों और घरों में आग लगाई !’
भारत के हिन्दूद्वेषी प्रसार माध्यम और बांग्लादेश के प्रसार माध्यम एक ही माला के मणि हैं, इसे जान लीजिए !
भारत के हिन्दूद्वेषी प्रसार माध्यम और बांग्लादेश के प्रसार माध्यम एक ही माला के मणि हैं, इसे जान लीजिए !
इस निंदा के साथ ही, संपूर्ण विश्व में ऐसी घटनाएं न हों ; इसके लिए हिन्दुओं का प्रभावशाली संगठन खडा करना आवश्यक है । उसके लिए, संपूर्ण विश्व के हिन्दुत्वनिष्ठ संगठनों को प्रधानता लेनी चाहिए !
क्या भारत का एक भी साहित्यकार, लेखक, खिलाडी आदि ; साथ ही, धर्मनिरपेक्षतावादी और आधुनिकतावादी, बांग्लादेश में हिन्दुओं पर किए गए आक्रमण की निंदा करता हुआ दिखाई दे रहा है ? उसकी तुलना में तस्लिमा नसरीन हिन्दुओं को अपनी लगती हैं !
ध्यान रखें, कि बंगाल की तृणमूल कांग्रेस सरकार ऐसे मौलानाओं के विरुद्ध कभी भी कार्यवाही नहीं करेगी ! बंगाल दूसरा बांग्लादेश बन गया है, इसलिए, कल वहां भी हिन्दुओं एवं उनके मंदिरों पर आक्रमण आरंभ हो गए, तो इसमें कोई आश्चर्य नहीं होना चाहिए !
ईसाई अमेरिका ने बांग्लादेश के हिन्दुओं पर हुए आक्रमणों की निंदा की, भारत कब करेगा ? तथा वह हिन्दुओं की सुरक्षा के लिए कब पहल करेगा ? या फिर अब भी गांधीगिरी का ही अनुकरण करेगा ?
सत्ता में बैठी बांग्लादेश अवामी लीग के धर्मांध कार्यकर्ता हिन्दुओं पर आक्रमण करने में हमेशा आगे रहते हैं, यह अनेक घटनाओं से दिखाई देता है । इस विषय में कमाल को क्या कहना है ?
‘जहां हिन्दू संख्या में अल्प हैं, वहां वे मार खाते होंगे, तो जहां वे संख्या में अधिक हैं, वहां उनके कृति करने पर अल्पसंख्यक हिन्दुओं की रक्षा होगी’, ऐसी रणनीति स्वातंत्र्यवीर सावरकर ने रखी थी । हिन्दू ऐसा करें, ऐसी बांग्लादेश सरकार की इच्छा है क्या ?
भारत में अल्पसंख्यकों के संबंध में ऐसी चूक भूलवश भी हो गई होती, तो भारत के धर्मनिरपेक्षतावादी, आधुनिकतावादी, धर्मान्ध, हिन्दुद्वेषी भारतीय एवं पश्चिमी प्रसार माध्यम, संपूर्ण संसार, इस्लामी देश एवं उनके संगठन हंगामा करते हुए भारत को ‘तालिबान’ ठहराकर कठोर कार्यवाही की मांग करते !
जमात-ए-इस्लामी द्वारा आक्रमण !
हिन्दुओं को अपेक्षा है, कि केंद्र की भाजपा सरकार बांग्लादेश के हिन्दुओं की रक्षा के लिए प्रयास करेगी !