हिन्दुओं का धर्मांतरण करने के लिए, उन्हें बाइबल वितरित करने वाले केरल के दो पादरी बंदी !

हिन्दुओं का धर्मांतरण करने के लिए, प्रति माह १२ सहस्र रुपए प्राप्त होने की पादरियों की स्वीकृति !

त्रिपुरा में भीड द्वारा की गई मारपीट में बांग्लादेशी पशुतस्कर की मृत्यु !

त्रिपुरा राज्य के सिपहिजाला जनपद के कमलानगर गांव में भीड ने एक संदिग्ध पशुतस्कर से मारपीट की, जिसमें उसकी मृत्यु हुई । यह पशुतस्कर बांग्लादेश का निवासी था, ऐसा बताया जा रहा है । यह जनपद बांग्लादेश की सीमा से सटा हुआ है ।

फतेहाबाद (हरियाणा) के सेंट मेरी पब्लिक स्कूल एवं डी.ए.वी. पब्लिक स्कूल के रामलीला के कार्यक्रम में श्रीराम, लक्ष्मण एवं सीतामाता का घृणास्पद अनादर

हिन्दूबहुल भारत में हिन्दुओं के आस्था के केंद्रों का बार-बार घृणास्पद अनादर कर भी सरकार, पुलिस और प्रशासन उसका सामान्य संज्ञान भी नहीं लेते, यह हिन्दुओं के लिए लज्जाप्रद ! इस स्थिति को बदलने हेतु अब हिन्दु राष्ट्र के बिना अन्य कोई विकल्प नहीं !

हिसार (हरियाणा) में भाजपा के सांसद की गाडी पर आंदोलनकारी किसानों का आक्रमण

एक अन्य घटना में आंदोलनकारियों ने भाजपा नेताओं का ७ घंटे घेराव किया !

कोलकाता उच्च न्यायालय में प्रलंबित है देश का सबसे पुराना, अर्थात २२१ वर्ष पहले का न्यायालयीन मुकदमा !

सरकारी सर्वेक्षण के अनुसार सभी मुकदमों का निर्णय आने में लगेंगे ३२४ वर्ष !

धार्मिक पर्यटन को बढावा देने के लिए रेलवे की ‘श्री रामायण यात्रा’ विशेष रेलगाडी प्रारंभ !

यह यात्रा गाडी दिल्ली के सफदरजंग रेलवे स्टेशन से रवाना की गई । यहां से यह रेलगाडी भगवान श्रीराम के जीवन से संबंधित सभी प्रमुख स्थानों पर जाएगी ।

फर्रुखाबाद (उत्तर प्रदेश) के जनपद कारागृह में एक बंदी की मृत्यु के पश्चात, अन्य बंदियों द्वारा की गई हिंसा : ३० पुलिसकर्मी एवं बंदी चोटग्रस्त

कारागृह में बंदियों पर समय पर उपचार नहीं किए जाने की स्थिति में, जांच कर संबंधित लोगों के विरुद्ध कार्यवाही की जानी चाहिए !

भारत-पाक सीमा पर ३ वर्षों के उपरांत दिवाली के अवसर पर दोनों देशों के जवानों ने एक-दूसरे को दी मिठाइयां !

पाकिस्तान ने ऐसा क्या किया है, जिससे भारत ने इस परंपरा को पुनर्जीवित किया ? पाकिस्तान को मिठाइयां देने और उससे मिठाइयां लेने का क्या औचित्य है, जब पाकिस्तान और उसके प्रायोजित आतंकवादी निरंतर कश्मीर पर आक्रमण कर रहे हैं ?

मद्रास उच्च न्यायालय ने उच्चतम न्यायालय से क्षमा याचना की !

उच्चतम न्यायालय के निर्देश देने के उपरांत भी एक याचिका को ६ वर्षों तक निलंबित रखने का प्रकरण !