बागेश्वर धाम के मंच पर सुलताना बेगम ने स्वीकार किया हिंदु धर्म !
महंत पंडित धीरेंद्रकृष्ण शास्त्रीजी के बागेश्वर धाम के मंच पर सुलताना बेगम ने २१ जनवरी के दिन हिंदू धर्म में प्रवेश किया ।
महंत पंडित धीरेंद्रकृष्ण शास्त्रीजी के बागेश्वर धाम के मंच पर सुलताना बेगम ने २१ जनवरी के दिन हिंदू धर्म में प्रवेश किया ।
हिन्दुओं को लगता है कि उत्तर प्रदेश की भाजपा सरकार को इस अवैधानिक कृति का संज्ञान लेना चाहिए और मदरसों में गैर-मुसलमानों की शिक्षा पर प्रतिबंध लगाकर कड़ी कार्रवाई करनी चाहिए !
अनेक बार ऐसी घटनाएं सामने आकर भी कितने लोगों पर पुलिस ने कठोर कार्यवाही की है ? ऐसे प्रकार होनेवाले उपाहारगृहों पर भी प्रतिबंध लगाना चाहिए !
अपराध केवल मुसलमान पुरुष ही नहीं, अपितु महिलाएं भी अग्रणी हैं, यह दर्शानेवाली घटना !
विश्वभर का ज्ञान नि:शुल्क उपलब्ध करवानेवाले ऑनलाइन स्रोतों की उपयोगिता मान्य है; किंतु कानूनी विवादों को सुलझाने के लिए ऐसे स्रोतों का उपयोग करते समय सावधान रहे, ऐसा स्पष्ट प्रतिपादन सर्वोच्च न्यायालय ने एक अभियोग की सुनवाई करते समय किया ।
हिन्दू कभी अन्य धर्मियों का धर्म परिवर्तन करने का प्रयास नहीं करते, यह इतिहास है; परंतु अन्य धर्मी हिन्दुओं को तलवार तथा लोभ दिखा कर धर्म परिवर्तन करते आए हैं, यह इतिहास तथा वर्तमान है । इस विषय में यह समझ लें कि निरपेक्षतावादी तथा पुरो(अधो)गामी कभी मुंह नहीं खोलते !
‘हिन्दू विवाह कानून’ के अनुसार अंतरधर्मीय दांपत्य का विवाह रद्द सिद्ध होता है । इस कानून के अनुसार हिन्दू से केवल हिन्दू विवाह कर सकते हैं । सर्वोच्च न्यायालय ने ऐसी टिप्पणी की है ।
चलचित्रों, समाजिक माध्यमों और दूरदर्शन के माध्यम से हिन्दू देवी-देवताओं और धर्म के अपमान को रोकने के लिए एक ‘धर्म सेंसर बोर्ड’ का गठन किया गया है । इसकी स्थापना द्वारका एवं ज्योतिष पीठ के शंकराचार्य जगद्गुरु स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती ने की है ।
गणतंत्र की संकल्पना वेदों में है । ‘महाभारत के सभापर्व में अर्जुन अनेक गणराज्य जीत लेते हैं’, ऐसा उल्लेख है । राजसूय यज्ञ के समय में वे ये गणराज्य जीतते हैं ।
‘राष्ट्र एवं धर्म के प्रति अभिमान न रखनेवाली जनता उसी प्रकार के जनप्रतिनिधियों को चुनती है । उसके कारण आज देश पतन के रसातल को पहुंच गया है । इसका एक ही उपाय है – हिन्दुओं में राष्ट्र-धर्म के प्रति अभिमान जागृत कर हिन्दू राष्ट्र की स्थापना करना !