भारत बन गया यूरोप में तेल उपलब्ध करानेवाला सबसे बडा देश !

अमरिका तथा अन्य पश्चिमी देशों के दबाव के कारण अधिकांश यूरोपियन देशों पर रूस से तेल खरीदने पर प्रतिबंध लग गया । अतः सभी देशों ने भारत से शुद्ध तेल भारी मात्रा में आयात करना आरंभ किया है ।

हिन्दू राष्ट्र की स्थापना हेतु श्री हनुमान जयंती के अवसर पर दिल्ली, हरियाणा व मथुरा में ‘गदापूजन’ संपन्न

यहां के एन.सी.आर. एवं मथुरा में ११ स्थानों पर तथा फरीदाबाद, पानीपथ ‘गदापूजन’ संपन्न हुआ । इसका लाभ ६०० भक्तों ने लिया ।

दिल्ली के विद्यालय में हिन्दू जनजागृति समिति द्वारा भोजन वितरण का उपक्रम

यहां के विद्यालय सनातन धर्म विद्या भवन R-4, रघुनाथ मंदिर, अलकनंदा, कालकाजी में हिन्दू जनजागृति समिति द्वारा 30 EWS (Economically weaker section) विद्यार्थियों को भोजन वितरण किया गया ।

न्यायालय का समय एक काल्पनिक विषय पर नष्ट किया जा रहा है,  जबकि अनेक प्रकरण प्रलंबित हैं !

समलैंगिक विवाह के विरुद्ध जैन आचार्य शिव मुनि का राष्ट्रपति को पत्र !

समलिंगी विवाह में पत्नी कौन ? – केंद्र सरकार का सर्वाेच्च न्यायालय से प्रश्न

‘समलिंगी विवाह को मान्यता प्राप्त हो’, इसलिए सर्वाेच्च न्यायालय में २० याचिकाओं पर छठे दिन सुनवाई हुई । इस समय केंद्र सरकार का पक्ष प्रस्तुत करते हुए महाअधिवक्ता तुषार मेहता ने पूछा कि, ‘समलैंगिक विवाह में पत्नी कौन तथा उसकी देखभाल करने का अधिकार किसे प्राप्त होगा ?

बिहार में आजन्म कारावास भोगनेवाले भूतपूर्व सांसद आनंद मोहन अब छूट जाएंगे !

अपराधियों को छुडवाने के लिए नियमों में परिवर्तन करनेवाले शासनकर्ता बिहार में पुन: जंगलराज निर्माण कर रहे हैं । यदि कोई कहे कि ‘यह लोकतंत्र की शोकांतिका है’, तो गलत नहीं होगा !

कर्नाटक के मुसलमानों का आरक्षण रहित करने की याचिका पर ९ मई उपरांत निर्णय

कर्नाटक की भाजपा सरकार ने राज्य के मुसलमानों के लिए ४ प्रतिशत आरक्षण रहित करने के निर्णय के विरोध में सर्वोच्च न्यायालय में याचिका प्रविष्ट की है ।

भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष के विरोध में कुश्ती खिलाडियों का पुनः आंदोलन !

अंतरराष्ट्रीय ख्याति के कुश्ती खिलाडियों को न्याय के लिए बार-बार आंदोलन करना पड रहा है, जो कि दुर्भाग्यपूर्ण है । केंद्र सरकार को इस ओर ध्यान देकर वास्तविकता सामने लानी आवश्यक !

देहली के साकेत न्यायालय में महिला पर गोलीबारी

देश की राजधानी के न्यायालय में कानून तथा सुरक्षा की यह स्थिति पुलिस के लिए लज्जाजनक !

कारसेवकों को जलाने वाले ८ दोषियों को उच्चतम न्यायालय की ओर से जमानत

वर्ष २००२ के गुजरात दंगों का प्रारंभ साबरमती एक्सप्रेस के डिब्बे को आग लगाकर कारसेवकों को जिंदा जलाने से हुआ । उस घटना के दोषी ८ धर्मांध मुसलमानों को उच्चतम न्यायालय ने जमानत पर छोड दिया है ।