तृणमूल काँग्रेस के नेता को पशु् तस्करी के प्रकरण में बनाया बंदी !
पशु तस्करी अर्थात गोवंश की तस्करी होगी, इसमें संदेह नहीं । गोवंश की तस्करी करनेवाले नेता जिस दल में हैं वह तृणमूल काँग्रेस हिन्दूद्रोही ही है !
पशु तस्करी अर्थात गोवंश की तस्करी होगी, इसमें संदेह नहीं । गोवंश की तस्करी करनेवाले नेता जिस दल में हैं वह तृणमूल काँग्रेस हिन्दूद्रोही ही है !
यहां गोरक्षक तथा पुलिस ने २२ किलोमीटर तक पीछा कर ट्रक द्वारा गोवंशियों की तस्करी करनेवाले ६ गोतस्करों को नियंत्रण में लिया । पीछा होते समय गोतस्करों ने चलते ट्रक से ७ गायों को मार्ग में फेंक दिया ।
उत्तर प्रदेश में उनकी 300 करोड रुपए की संपत्ति थी !
ऐसे मामले रोकने के लिए देश स्तर पर गोवंश हत्याबंदी कानून लागू करना आवश्यक है । केंद्र सरकार इस हेतु कदम उठाएगी क्या ?
गोवंश की तस्करी करनेवाले कल तक गोरक्षक और पुलिस पर आक्रमण करते थे, अब वे सैनिकों पर भी आक्रमण करने का साहस कर रहे हैं । यह देखते हुए ऐसे लोगों को फांसी का ही दंड देने का कानून बनाना आवश्यक है !
गोहत्या और गोतस्करी के संबंध में केंद्र सरकार ने कठोर कानून बनाया, तो देश के राज्यों को अलग-अलग कानून बनाने की आवश्यकता नहीं होगी ! केंद्र सरकार को ऐसा कानून शीघ्रातिशीघ्र बनाना चाहिए, ऐसा ही हिन्दुओं को लगता है !
असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा के अनुसार पुलिस को अधिकार मिले हैं कि वे संदिग्ध गोतस्करों में घर में प्रवेश कर खोज करने और गोतस्कर द्वारा पिछले ६ वर्षाें में अवैध पशु व्यापार से प्राप्त संपत्ति जप्त कर सकते हैं ।
गोवंश चुरानेवालों के पास बंदूक जैसे शस्त्र होने से ही ऐसे अपराधों की गहराई ध्यान में आती है। क्या, इन चोरीयों के पीछे गोहत्या करनेवालों का कोई गिरोह कार्यरत है ? यह देखकर उन पर कठोर कार्रवाई होनी चाहिए। राष्ट्रीय स्तर पर ही गोहत्या बंदी का कठोर कानून बनना चाहिए, ऐसा हिन्दुओं को लगता है !
ध्यान दें कि, राजस्थान में कांग्रेस की सरकार होने के कारण धर्मांध गोतस्कर पुलिस पर गोलीबारी करने का साहस कर पाते हैं !
विशेष गोरक्षा कार्य दल की स्थापना करना एक अच्छा निर्णय है; लेकिन दल की ओर से प्रामाणिकता से कार्य होना चाहिए, इस ओर सरकार को ध्यान देना चाहिए, ऐसा हिंदुओं को लगता है !