रायसेन (मध्यप्रदेश) यहां हिन्दुओं पर आक्रमण करने वाले धर्मांधों के अवैध निर्माण पर प्रशासन की ओर से कार्यवाही

यदि इन धर्मांधों ने हिन्दुओं पर आक्रमण न किया होता, तो उनके अवैध निर्माण पर कार्यवाही न होती, ऐसे इस घटना से समझें क्या ?

कुशीनगर (उत्तर प्रदेश) में ‘द कश्मीर फाईल्स’ चलचित्र देखकर घर जानेवाले तीन हिन्दु युवकों पर धर्मांन्धों का आक्रमण !

जो कश्मीर में हिन्दुओं के सन्दर्भ में हुआ, वही आज उत्तर प्रदेश में हो रहा है तो यह हिन्दुओं के लिए लज्जास्पद ! सरकार को इसका त्वरित अभिज्ञान लेकर सम्बन्धित लोगों पर कठोर कारवाई करनी चाहिए !

होली के दिन बेगूसराय (बिहार) में धर्मांध कट्टरपंथियों के आक्रमण में २० से अधिक हिन्दू घायल !

क्या ईद, क्रिसमस आदि जैसे अन्य संप्रदायों के त्योहारों के समय उन पर कभी आक्रमण होते हैं ? फिर हिन्दू त्योहारों के समय ही कट्टरपंथी, हिन्दुओं पर आक्रमण क्यों करते हैं ? धर्मनिरपेक्षतावादी इसका उत्तर कब देंगे ?

तेल की आयात के विषय में पाश्चात्य देश भारत को सुझाव न दें !- भारत ने सुनाया

भारत ने पाश्चात्य देशों को रूस से तेल खरीद ने के संदर्भ में खडे बोल सुनाए हैं । भारत ने कहा है,‘ तेल संपन्न देश अथवा रूस से तेल की आयात करनेवाले देश प्रतिबंधात्मक व्यापार का समर्थन नहीं कर सकते ।

बांग्लादेशी हिन्दुओं के वंशविच्छेद पर अभी तक चलचित्र क्यों नहीं ? – तस्लीमा नसरीन

उन्होंने कहा, कि कश्मीरी हिन्दुओं को कश्मीर में रहने का संपूर्ण अधिकार मिलना आवश्यक है ।

‘मुसलमानों के कत्लेआम पर भी फिल्म निर्माता को चलचित्र बनाना चाहिए !’

जब मुसलमानों के साथ अन्याय होता है, तो कम्युनिस्ट, धर्मनिरपेक्षतावादी, बुद्धिजीवी सभी हिंदुओं पर टूट पडते हैं ; किंतु, “सत्य खान” को यह ध्यान रखना चाहिए, कि जब कट्टरपंथी भीषण कांड करते हैं, तो उन्हें ढक दिया जाता है

अमरोहा (उत्तर प्रदेश) में नमाज पठन का समय होते ही, रंग खेलनेवालों पर पत्थरबाजी !

उत्तर प्रदेश में भाजपा की सरकार होते हुए, त्यौहार मनानेवाले हिन्दुओं पर पत्थरबाजी करने की धर्मांधों की हिम्मत होना, यह हिन्दुओं को अपेक्षित नहीं । ऐसे लोगों पर सरकार कडी कारवाई करें !

पठानमथिट्टा (केरल) में अवयस्क लडकी का यौन शोषण करने वाला पादरी हिरासत में

ऐसी घटनाओं के विषय में निधर्मीवादी मुंह नहीं खोलते तथा प्रसारमाध्यम ऐसे वृत्त दबा देते हैं, यह ध्यान में रखें !

गुजरात में पाठशाला के पाठ्यक्रम में श्रीमद्भगवद्गीता का समावेश !

अब यदि पुरो(अधो)गामी, कांग्रेसी आदि ‘शिक्षा का भगवाकरण हो रहा है,’ ऐसा शोर मचाएं, तो आश्चर्य नहीं लगना चाहिए !