भारत के पहले रक्षादल प्रमुख जनरल बिपिन रावत का भारत की सुरक्षा में ठोस योगदान !

‘जनरल बिपिन रावत का निधन भारत की सुरक्षा के लिए एक बडा धक्का ही है । जनरल रावत भारत के रक्षादलप्रमुख (चीफ ऑफ डिफेन्स स्टाफ) थे । स्वतंत्रता के ७० वर्ष पश्चात भारत में रक्षादल प्रमुख की नियुक्ति की गई थी । जनरल बिपिन रावत का भारत की सुरक्षा में ठोस योगदान था । उनके निधन के कारण बडी रिक्ती उत्पन्न हुई है । इसके लिए उन्हें श्रद्धांजली देनी चाहिए । उन्होंने लंबे समय तक देश की सेना में अपनी सेवाएं दीं । इस लेख के माध्मम से उनके संपूर्ण कार्य का विश्लेषण करने का प्रयास किया गया है ।

‘जयपुर नेशनल युनिवर्सिटी’ के कुलगुरु डॉ. रोशन लाल रैना की सनातन आश्रम और आध्‍यात्मिक शोधकेंद्र में सदिच्‍छा भेंट !

‘जयपुर नेशनल युनिवर्सिटी’ के कुलगुरु डॉ. रोशन लाल रैना ने १२ दिसंबर के दिन रामनाथी, गोवा स्थित सनातन आश्रम एवं आध्यात्मिक शोधकेंद्र की दर्शन भेंट की । उन्होंने यहां आरंभ हुए आध्यात्मिक शोध एवं राष्ट्र और धर्म प्रसार के विषयों में आस्था से जानकारी ली । सनातन के साधक श्री. अमोल हंबर्डे ने उन्हें आश्रम में चल रहे इस कार्य के विषय में विस्तार से अवगत कराया ।

(कहते हैं) ‘यदि मुसलमान अधिक बच्चों को जन्म नहीं देंगे, तो हमारा समाज भारत पर कैसे राज करेगा !’

संविधान के अनुसार भारत धर्मनिरपेक्ष देश है एवं प्रत्येक राजनीतिक दल इस संविधान का पालन करने की अपनी प्रतिबद्धता की बात करता है । परंतु, एमआईएम धर्मनिरपेक्षता के नाम पर, भारत में मुसलमानों के सत्ता में आने का स्वप्न देख रहा है ; यह बात हिन्दुओं को कब ध्यान में आएगी  ?

जयपुर, राजस्थान के धर्माभिमानी और शिवभक्त श्री. वीरेंद्र सोनी (आयु ८६ वर्ष) संतपद पर विराजमान !

ऐसी हुई संतपद प्राप्ति की घोषणा !      ३० नवंबर २०२१ को श्रीचित्शक्ति (श्रीमती) अंजली मुकुल गाडगीळजी ने जयपुर यात्रा के समय श्री. वारिद सोनी (‘वारिद’ का अर्थ दक्ष) को संदेश दिया कि वे उनके परिजनों से मिलेंगी । दोपहर १२ बजे ‘उच्च कोटि के संत घर आएंगे’, इस विचार से सोनी परिवार ने … Read more

सनातन संस्था की ग्रंथ-प्रदर्शनी को माननीय केंद्रीय राज्यमंत्री कृष्णपाल गुर्जरजी की भेंट

गीता जयंती के उपलक्ष्य में हरियाणा सरकार द्वारा १२ से १४ दिसंबर की समयावधि में यहां के ‘एचएसवीपी कन्वेंशन हॉल’ में अंतरराष्ट्रीय गीता महोत्सव का आयोजन किया गया । इस महोत्सव में भगवद्गीता पर आधारित व्याख्यान रखा गया था । उसमें सनातन संस्था द्वारा ‘भगवद्गीता’ विषय पर व्याख्यान हुआ ।

कालमेघ वनस्पति और विकारों में उसके उपयोग

कालमेघ वनस्पति संक्रामक रोगों के लिए अत्यंत उपयुक्त है । यह बहुत ही कडवी होती है । इसका उपयोग ज्वर और कृमियों के लिए किया जाता है । यह सारक (पेट को साफ करनेवाली) होने से कुछ स्थानों पर वर्षा ऋतु में और उसके उपरांत आनेवाली शरद ऋतु में सप्ताह में एक बार इसका काढा पीने की प्रथा है । इससे शरीर स्वस्थ रहता है ।

विश्व पुस्तक मेला (वर्ल्ड बुक फेयर)

संस्था द्वारा निर्मित साधना, आचारधर्म, राष्ट्र-धर्म रक्षा, बालसंस्कार, आयुर्वेद आदि संबंधी एवं आपातकाल हेतु उपयुक्त ग्रंथ

मकर संक्रांति (१४ जनवरी)

इस दिन सूर्य का मकर राशि में संक्रमण होता है । सूर्यभ्रमण के कारण होनेवाले अंतर की पूर्ति करने हेतु प्रत्येक अस्सी वर्ष में संक्रांति का दिन एक दिन आगे बढ जाता है । आजकल संक्रांति १४ जनवरी को पडती है ।

सीधे ईश्वर से चैतन्य और मार्गदर्शन ग्रहण करने की क्षमता होने से, आगामी ईश्वरीय राज्य का संचालन करनेवाले सनातन संस्था के दैवी बालक !

परात्पर गुरु डॉ. आठवलेजी के संकल्पानुसार आगामी कुछ वर्षाें में ईश्वरीय राज्य की स्थापना होनेवाली है । अनेकों के मन में प्रश्न होता है कि ‘इस राष्ट्र का संचालन कौन करेगा ?’ इसलिए ईश्वर ने उच्च लोक से कुछ हजार दैवी बालकों को पृथ्वी पर जन्म दिया है । उनके प्रगल्भ विचार और अलौकिक विशेषताएं इस स्तंभ में प्रकाशित कर रहे हैं ।

हिन्दू राष्ट्र-स्थापना के कार्य में ‘सनातन प्रभात’ की सक्रिय सहभागिता, उसे प्राप्त सफलता और पाठकों को होनेवाला आध्यात्मिक लाभ !

‘हिन्दू राष्ट्र की स्थापना में ‘सनातन प्रभात’ की सक्रिय सहभागिता’, यह विषय मैं एक पाठक, एक साधक, एक हिन्दू धर्मप्रेमी और एक राष्ट्रप्रेमी की दृष्टि से प्रस्तुत करने का प्रयास कर रहा हूं