तालिबान को सहायता करने वाले पाक को इसका परिणाम जल्द ही भोगना पडेगा ! – ईरान के पूर्व राष्ट्रपति महमूद अहमदीनेजाद

अफगानिस्तान की स्थिति सुधारने के लिए भारत और ईरान को एकत्र आने की आवश्यकता

(कहते हैं) ‘मंत्री-स्तरीय पद नहीं, केवल बच्चों को जन्म देना, यही महिलाओं का काम है !’ – तालिबान

भारत के महिला संगठन, मानवाधिकार संगठन, आदि तालिबान के विरुद्ध मुंह क्यों नहीं खोलते अथवा क्या वे सोचते हैं कि तालिबान जो कर रहा है वह उचित है

चीन तालिबान को सहायता के तौर पर २२८ करोड रुपये देगा !

लोकतंत्र के विरोध में जाकर सत्ता स्थापित करने वाले तालिबान को चीन द्वारा सहायता करने से लोकतंत्र को पुरस्कृत करने वाले पश्चिमी देश अब चीन के विरोध में ठोस भूमिका निभाएंगे क्या ?

इस्लामिक स्टेट के आतंकियों का भारत के विरुद्ध उपयोग करने की आई.एस.आई. की तैयारी !

पाकिस्तान की आतंकी गतिविधियों को स्थाई रूप से रोकने हेतु पाकिस्तान को नष्ट करना अनिवार्य है ; यह बात भारत को जब समझ में आएगी, वह शुभ दिन सिद्ध होगा !

Exclusive : तालिबान, भविष्य में कश्मीर पर आक्रमण कर सकता है ! – कोएनराड एल्स्ट, लेखक, बेल्जियम

ऐसा हो, इससे पहले भारत को तालिबान की सहायता करने वाले पाकिस्तान को नष्ट करना होगा !

अफगानिस्तान में शरीया कानून के अनुसार राजतंत्र चलेगा ! – तालिबान की घोषणा

लोकतंत्र के प्रति प्रेम रखनेवाले, भारत के तालिबान प्रेमियों को अफगानिस्तान में शरीया कानून के अनुसार चलनेवाला लोकतंत्र अच्छा लगेगा और वे उसका समर्थन ही करेंगे !

इस्लामवादी विचारधारा और उससे होने वाली हिंसा सुरक्षा के लिए प्रमुख खतरा ! – ब्रिटेन के पूर्व प्रधानमंत्री टोनी ब्लेअर

टोनी ब्लेअर को जो लगता है वह विश्व के अन्य नेताओं को लगता है क्या, या वे अभी भी धर्मनिरपेक्षता की गोद में सो रहे हैं ?

इस्लाम धर्म संगीत, नृत्य, लोकतंत्र, महिला अधिकार आदि का विरोध करता है ! – बांग्लादेशी लेखिका तस्लीमा नसरीन

क्या भारत में धर्मनिरपेक्षतावादी, आधुनिकतावादी , इस्लामवादी विद्वान आदि क्या इस विषय में बात करेंगे ? क्या वे तालिबान का विरोध करेंगे ?

चीन और तालिबान के बीच संबंध बहुत अच्छे नहीं हैं, तथापि वे कोई मार्ग निकालने का प्रयत्न कर रहे हैं ! – जो बायडेन

अमेरिका के राष्ट्रपति जो बायडेन ने कहा, “अब तालिबान से कैसे निपटना चाहिए ?, यह सभी देश विचार कर रहे हैं ।

‘मुझे अपेक्षा है कि तालिबान इस्लामी नियमों के आधार पर अच्छा शासन करेगा !’ – फारूक अब्दुल्ला

जब तालिबान का इतिहास एवं वर्तमान क्रूरता के होते हुए भी, फारूक अब्दुल्ला ऐसा वक्तव्य देने साहस कैसे जुटाते हैं