(इनकी सुनिए) ‘वैज्ञानिक शोध पुराणों में ही लिख कर रखे हैं, ऐसा कहनेवालों से बात कैसे करेंगे ?’

हिन्दूद्वेषी अभिनेता नसीरुद्दीन शाह द्वारा ‘इस्रो’ के प्रमुख अधिकारियों की आलोचना  !

मुंबई – इस्रो की प्रमुख एक महिला हैं । कुछसमय पूर्व उन्होंने ऐसा दावा किया कि ये सभी वैज्ञानिक शोध हमारे पुराणों में अनेक वर्ष पूर्व ही लिख कर रखे हैं । पाश्चात्य देशों ने इस बात का लाभ लेते हुए पूरा श्रेय लिया है । अब ऐसी मानसिकतावाले व्यक्ति से आप कैसे संवाद अथवा विवाद करेंगे ?, हिन्दूद्वेषी अभिनेता नसीरुद्दीन शाह ने यहां ऐसा वक्तव्य दिया । वे एक साक्षात्कार में बोल रहे थे । वर्तमान में नसीरुद्दीन शाह ‘ताज : डिवाइड बाइ ब्लड’  ‘वेब सीरिज’ में मुगल सम्राट अकबर की भूमिका साकार कर रहे हैं । इस संदर्भ में उनका साक्षात्कार लिया गया था ।

शाह ने आगे कहा, ‘‘विज्ञान के स्थान पर हम पुन: अंधश्रद्धा की ओर पीछे जा रहे हैं । ‘अमूक बात की, तो कर्करोग अच्छा होगा’, ‘अमूक बात की, तो विमान उडेगा’, ऐसी अनेक भ्रामक कल्पनाओं के अधीन हम जा रहे हैं । चार्ल्स डार्विन को पाठ्यपुस्तक से हटाया गया है । ( जो असत्य है, वह कभी तो सामने आता ही है एवं समाज उसे अस्वीकार करता है, डार्विन के सिद्धांत के संदर्भ में यही हुआ है । इसके भी अध्ययन से अनभिज्ञ नसीरुद्दीन शाह हिन्दुओं के पुराण के विषय में बोलते हैं, यह हास्यास्पद ही है ! – संपादक, दैनिक सनातन प्रभात) कुछ दिनों उपरांत यह बात आईनस्टाईन के संदर्भ में भी घटित होगी । तत्पश्चात ये लोग बच्चों को क्या सिखाएंगे ?’’ (श्रद्धा तथा अंधश्रद्धा अर्थात क्या ? क्या यह नसीरुद्दीन शाह को ज्ञात है ? – संपादक, दैनिक सनातन प्रभात )

संपादकीय भूमिका 

  • जिस क्षेत्र का हमें ज्ञान नहीं है, उसके विषय में अपनी अज्ञानता का प्रदर्शन तो न करें, यह सरल एवं सीधा सामाजिक नियम भी न जाननेवाले हिन्दूद्वेषी स्वयं का ही उपहास उडा रहे हैं ! ऐसे हिन्दूद्वेषी कलाकारों के चलचित्रों का हिन्दू बहिष्कार करें, तो कोई आश्‍चर्य नहीं !
  • हिन्दुओं के धर्मग्रंथों में सहस्रों वर्ष पूर्व ही पृथ्वी को गोलाकार बताया गया है; परंतु अन्य पंथों के ग्रंथों में पृथ्वी चपटी होने की बात कही गई है, इस संदर्भ में नसीरुद्दीन शाह क्यों नहीं बोलते ?