लद्दाख से सेना पीछे लेने की भारत की मांग को चीन ने नकारा !

भारत की भूमि में घुसपैठ करना और भारत को ही सुनाना, चीन की इस दादागीरी को भारत ने जैसे को तैसा उत्तर देने की आवश्यकता है !

(कहते हैं) ‘ताइवान चीन का ही क्षेत्र होने के कारण इस प्रकरण में किसी का भी हस्तक्षेप सहन नहीं किया जाएगा !’- चीन की चेतावनी 

यदि चीन इस प्रकार की दादागिरी करेगा, तो संपूर्ण संसार एवं संयुक्त राष्ट्र ने चीन का बहिष्कार करना चाहिए !

अरुणाचल प्रदेश की सीमा पर चीन के २०० सैनिकों का घुसपैठ करने का प्रयास !

चीन को जैसे को तैसा उत्तर दिया, तो दुम दबाकर भागता है, यह ध्यान में रखते हुए भारत ने हमेशा इसी भूमिका में रहना चाहिए !

दक्षिण चीन सागर में चीनी नौकाओं की घुसपैठ को लेकर मलेशिया ने चीनी राजदूत को मिलने बुलाया !

भारत से छोटे देश भी चीन को सीधी चुनौती देते रहते हैं, तो यह भारत के लिए संभव क्यों नहीं ?

यदि चीन, ताइवान पर नियंत्रण प्राप्त करने का प्रयत्न करता है, तो इसके गंभीर परिणाम होंगे ! – ताइवान की चेतावनी

ताइवान जैसा छोटा सा देश भी चीन को सीधी चेतावनी देता है, जबकि परमाणु अस्त्र संपन्न भारत, चीन के विरुद्ध एक शब्द भी नहीं बोलता ,यह लज्जास्पद है !

पाकिस्तानी सैन्य अधिकारी चीनी सेना में सहभागी हो रहे हैं ! – गुप्तचरों की जानकारी

चीन-पाकिस्तान गठबंधन, भारत के लिए संकट जनक है । ऐसा गठबंधन बनने के पूर्व ही, भारत का पाकिस्तान को नष्ट करना आवश्यक था ; परंतु, यह सर्वदलीय शासकों के लिए लज्जाजनक बात है, कि गत ७४ वर्षों की भारत की डरपोक नीतियों के कारण, भारत अधिक संकटकारी स्थिति की ओर मुड रहा है ! नई … Read more

नेपाली नागरिकों द्वारा चीनी अतिक्रमण के विरुद्ध आंदोलन !

प्रदर्शनकारियों ने, “चीन को हमारी भूमि वापस करनी चाहिए” एवं “चीन वापस जाओ” के नारे भी लगाए ।

अमेजन ने ६०० चीनी प्रतिष्ठानों पर स्थायी रूप से प्रतिबंध लगा दिया !

अमेजन ने स्पष्ट कर दिया है, कि यह चीन को “लक्षित” करने का अभियान नहीं है, अपितु एक वैश्विक अभियान है । हम गलत काम करने वालों के विरुद्ध कार्रवाई करते रखेंगे ।

अमेरिका की ओर से अफगानिस्तान को ४ सहस्र ७१४ करोड़ रुपए की सहायता की घोषणा

अमेरिका की गांधीगीरी ! यह सांप को दूध पिलाने समान है ! मानवता के नाम के नीचे दी जाने वाली यह रकम गरीब अफगानी नागरिकों को मिलेगी या तालिबानी आतंकवादी इसे स्वयं के लिए खर्च करेंगे, इस पर कौन और कैसे ध्यान रखेगा ? इसके पहले अमेरिका ने इस प्रकार की सहायता पाक को की थी और पाक द्वारा इसे जिहादी आतंकवादियों पर खर्च करने का इतिहास है !