(कहते हैं) ‘फरवरी माह में भारत के साथ गुप्त बैठक हुई !’ – पाकिस्तान की खुराफाती चाल
पाक की इस चालाकी का सरकार कैसे उत्तर देगी ?
पाक की इस चालाकी का सरकार कैसे उत्तर देगी ?
पाक अधिग्रहित कश्मीर में एक सभा को संबोधित करते हुए पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने घोषणा की है कि पाकिस्तान अधिग्रहित कश्मीर में दो जनमत परीक्षण कराए जाएंगे ।
भारत के लिए यह लज्जास्पद ! पाकिस्तान को सबक सिखाकर पाकव्याप्त कश्मीर को पुनः भारत के आधिपत्य में लाने वाले तीव्र इच्छाशक्तिवाले शासकों की आवश्यकता है !
अल्पसंख्यकों के अधिकारों के विषय सिनेट संसदीय समिति के सदस्य कादरी ने कहा कि, आयु के १८ वर्ष होने से पहले धर्म परिवर्तन किसी की इच्छा पर निर्भर है । उसे कोई रोक नहीं सकता ।
पाकिस्तान तालिबान का उपयोग भारत विरोधी गतिविधियों के लिए करेगा, यह विभिन्न उदाहरणों से सिद्ध हो चुका है । इन दोनों के विरुद्ध आक्रामक नीति अपनाना भारत के लिए अनिवार्य है !
जिस पाकिस्तान में इस्लामिक देशों के राजदूतों के बच्चे भी सुरक्षित नहीं हैं, वहां के अल्पसंख्यक सामान्य हिन्दुओं की दुर्दशा के संबंध में विचार न करना ही अच्छा है !
इस्लामिक देश पाकिस्तान में ऐसा ही होगा, यह आश्चर्य की बात नहीं है ! ध्यान दें, अंतर्राष्ट्रीय मानवाधिकार संगठन, भारत के धर्मनिरपेक्षतावादी और आधुनिकतावादी इस संबंध कुछ नहीं बोलेंगे !
‘जैसा बोऒगे वैसा काटोगे’ इसी न्यायानुसार पाकिस्तानी सेना को अब हानि हो रही है , इसमें कोई आश्चर्य नहीं !
चीन, पाकिस्तान में आतंकवाद को प्रोत्साहन देता है । इसका परिणाम उसे सहन करना पड रहा है । देखना होगा कि क्या इस घटना के पश्चात चीन समझदार होगा !
भारत सरकार को अब पाकिस्तान में हिन्दुओं की सुरक्षा के लिए पहल करनी चाहिए । यदि ऐसा नहीं किया गया, तो निश्चित है कि पाकिस्तान में चिराग लेकर ढूंढने पर भी हिन्दू नहीं मिलेंगे !