मुंबई में भ्रमणभाष खेल के माध्यम से हिन्दू बच्चों का धर्मांतरण हो रहा था !

ध्यान रहे ऐसी घटनाओं पर कांग्रेस, साम्यवादी पक्ष , समाजवादी पक्ष , बसपा, पुरो (अधो) गामी निधर्मीवादी अथवा इस्लामी संगठन मुंह नहीं खोलते !

(कहते हैं) ‘हमने जाकिर नाइक को आमंत्रित नहीं किया है !’

कतर के इस व्यक्तव्य पर कौन विश्वास करेगा ? यदि जाकिर नाइक को कतर ने आमंत्रित नहीं किया होता तो वह ‘फुटबॉल’ जैसे खेल के लिए अचानक वहां क्यों और किस लिए पहुंचा ?