महर्षि अध्यात्म विश्वविद्यालय के नृत्य विभाग में सीखनेवाली कु. वेदिका मोदी द्वारा प्रस्तुत भरतनाट्यम् का कु. मधुरा भोसले द्वारा किया गया सूक्ष्म परीक्षण !

महर्षि अध्यात्म विश्वविद्यालय के नृत्य विभाग में सीखनेवाली ५७ प्रतिशत आध्यात्मिक स्तर प्राप्त कु. वेदिका मोदी (आयु १४ वर्ष) द्वारा प्रस्तुत भरतनाट्यम् का कु. मधुरा भोसले द्वारा किया गया सूक्ष्म परीक्षण ! नृत्यसाधना के विषय में अद्वितीय शोधकार्य करनेवाला महर्षि अध्यात्म विश्वविद्यालय      ‘६.२.२०२२ को महर्षि अध्यात्म विश्वविद्यालय की नृत्य विभाग में सीखनेवाली जोधपुर … Read more

जोधपुर की दैवी बालसाधिका कु. वेदिका मोदी को परात्पर गुरु डॉ. आठवलेजी के समक्ष भावपूर्ण नृत्य प्रस्तुत करते देख कु. मधुरा भोसले को हुई अनुभूति !

नृत्य करते समय कु. वेदिका ने घागरा पहना था । उसे देखकर प्रतीत हुआ कि घागरा पहनने के कारण उसके स्थान पर ‘एक नन्हीसी गोपी ही श्रीकृष्ण के समक्ष भावपूर्ण नृत्य प्रस्तुत कर नृत्य के माध्यम से श्रीकृष्ण की उपासना कर रही है । उसका यह नृत्य हो रहा था, तब उसके हृदय में भगवान श्रीकृष्ण के प्रति भाव जागृत हो गया ।

मधुर वाणी की दैवी प्रतिभा प्राप्त और गायन के प्रति भाव रखनेवाली स्वरसम्राज्ञी भारतरत्न स्व. लता मंगेशकर (आयु ९२ वर्ष) !

गाना शब्द सुनते ही गानसम्राज्ञी लता मंगेशकर का रूप आंखों के सामने आता है । लतादीदी का अर्थ गाना ! संगीत के साथ उनका ऐसा समीकरण जुडा हुआ था, ऐसा कहना अनुचित नहीं होगा ।

भारतीय शास्त्रीय नृत्य की ओर साधना के रूप में देखनेवाले प्रसिद्ध कथ्थक नर्तक पद्मविभूषण पं. बिरजू महाराज !

संगीत में कोई भी कृत्य करने से पूर्व अपने इष्टदेवता का ध्यान (स्मरण) करना आवश्यक होता है । इसलिए कोई भी कृत्य करने से पूर्व भगवान के स्तुतिपर गीत, वंदना इत्यादि के माध्मय से भगवान की स्तुति गाई जाती है ।