Abdul Qureshi Bail : ‘इंडियन मुजाहिदीन’ का सहसंस्थापक अब्दुल कुरेशी को देहली उच्च न्यायालय द्वारा जमानत (प्रतिभूति) !

‘भारत के ओसामा बिन लादेन’ के रुप में है परिचित !

अब्दुल कुरेशी

नई देहली – वर्ष २०१० में सरकार द्वारा आतंकवादी संगठन घोषित किए ‘इंडियन मुजाहिदीन’ का सहसंस्थापक अब्दुल सुभान कुरेशी को देहली उच्च न्यायालय ने जमानत दी । न्यायालय ने कहा कि केवल याचिकाकर्ता पर रखे आरोप गंभीर होने से भा.द.सं. की धारा ४३६-अ के अंतर्गत दी राहत नकारने का एकमात्र कारण माना नहीं जा सकता ।

न्यायमूर्ति सुरेश कुमार कैत और न्यायमूर्ति मनोज जैन के खंडपिठ ने बताया कि मामले के सर्व तथ्य एवं परिस्थिति ध्यान में लेकर तथा याचिकाकर्ता ने पहले से ही कारागृह में बीताया काल ध्यान में रखकर हम जमानत को अनुमति दे रहे हैं । कुरेशी को वर्ष २०१९ में बंदी बनाया गया । उसपर प्रविष्ट अपराध अधिकाधिक ५ वर्षाें के दंड की अनुमति देनेवाले थे । यह कालखंड पूर्ण हो रहा है, इसलिए उसे जमानत दी है, ऐसा इस समय न्यायालय ने बताया ।

कौन है अब्दुल सुभान कुरेशी ?

पहले से ही प्रतिबंधित ‘सिमी’ नामक आतंकवादी संगठन द्वारा पुस्तक अथवा लेख प्रकाशित किए जा रहे थे । कुरेशी इनका संपादक था । देहली पुलिस की जानकारीनुसार वह ‘इंडियन मुजाहिदीन’ के सहसंस्थापकों में से एक था । इस आतंकवादी संगठन का उद्देश्य भारत में इस्लामी शासन प्रस्थापित करना, यही था । वर्ष २०१० में जब इंडियन मुजाहिदीन पर प्रतिबंध लगाया गया, तब कुरेशी ‘पॉप्युलर फ्रंट ऑफ इंडिया’ नामक आतंकवादी संगठन में सहभागी हुआ । यह संगठन भी वर्ष २०४७ तक भारत में इस्लामी शासन प्रस्थापित करना चाहता है । सरकार ने अब उसपर भी प्रतिबंध लगाया है ।