राजस्थान में स्थानांतरण (तबादला) कराने के लिए, सरकारी शिक्षकों को देनी पडती है रिश्वत !
यह गहलोत सरकार की विफलता है, उन्हें यह स्वीकार करना होगा । उन्हें बताना होगा कि वे इस भ्रष्टाचार को रोकने के लिए क्या करने जा रहे हैं ! – संपादक
यह गहलोत सरकार की विफलता है, उन्हें यह स्वीकार करना होगा । उन्हें बताना होगा कि वे इस भ्रष्टाचार को रोकने के लिए क्या करने जा रहे हैं ! – संपादक
ऐसे लोगों पर शीघ्रगति न्यायालय में अभियोग चलाकर उन्हें फांसी का ही दंड दिया जाना चाहिए !
प्रधानमंत्री मोदी का यह निर्णय साहस एवं शौर्य दिखाता है ; परंतु, भविष्य में आवश्यकता होने पर पुनः एक बार कृषि कानून बनाए जाएंगे”, ऐसा वक्तव्य राजस्थान के राज्यपाल कलराज मिश्र ने किया है ।
शिक्षक के पद को कालिख पोतनेवाले ऐसे वासनांधों को फांसी का ही दंड देना चाहिए !
देश के अधिकांश राज्यों में सरकारी कर्मचारियों, अधिकारियों, पुलिस आदि को स्थानांतरण के लिए रिश्वत का भुगतान करना पडता है या वे इसके लिए स्वयं भुगतान करते हैं । किन्तु, कभी कोई इस संबंध में समीक्षा नहीं करता । वास्तविक स्थिति ऐसी है, मानो यह प्रशासन का अघोषित हिस्सा हो । हिन्दू राष्ट्र में किसी भी प्रकार का भ्रष्टाचार नहीं होगा !
राजस्थान में काँग्रेस सरकार होने से वहां धर्मांधों की ओर से ऐसे काम होंगे ही !
सेना के २ जनरलों ने बताया, कि किसान आंदोलन भारतीय सेना को भी प्रभावित कर रहा है । अतः कुछ भी हो सकता है । “आज आप सत्ता में बैठे हैं और सत्ता के अहंकार में कुछ भी करते जा रहे हैं ; परंतु, इसके क्या परिणाम होंगे, यह आप नहीं जानते ।” मेघालय के राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने यहां आयोजित जाट सम्मेलन में यह वक्तव्य दिया ।
काँग्रेस सरकार ने हिन्दुओं को लक्ष्य कर मुसलमानों को खुश करने के लिए ही यह आदेश दिया है, यह जगजाहिर है । धर्मनिरपेक्ष देश में प्रत्येक धर्म वालों को उनके धर्म पालन करने की धार्मिक स्वतंत्रता संविधान में दी है, उसका यह खुले तौर पर उल्लंघन है । इसका हिन्दुओं द्वारा और उनके संगठनों द्वारा प्रखर विरोध होना चाहिए !
ऐसों को नौकरी से निकालकर छोडना नहीं चाहिए, तो उनके उपर देशद्रोह का गुनाह प्रविष्ट कर कठोर सजा होनी चाहिए !
इंटरनेट के माध्यम से चलदूरभाष (मोबाईल) संच द्वारा कॉपी की जा रही है, यह ध्यान में आने पर इंटरनेट व्यवस्था बंद की गई । तब भी प्रशासन को कॉपी रोकना संभव नहीं हुआ ।