शिक्षक भर्ती घोटाले पर सुप्रीम कोर्ट ने ममता बनर्जी सरकार को लगाई फटकार !
नई दिल्ली – बंगाल में २५ हजार शिक्षकों और गैर-शिक्षण कर्मचारियों की भर्ती से जुडे घोटाले के मामले में सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि उम्मीदवारों के चयन में कई त्रुटियां हैं। जब राज्य सरकार को भर्ती में गडबडी की जानकारी थी तो अतिरिक्त पदों पर शिक्षकों की नियुक्ति क्यों की गई ?
Why was no action taken after the irregularities in teacher’s process? – Supreme Court reprimands Mamata Banerjee’s Government.
The Bengal Government has become so unresponsive that no matter how harshly the Court reprimands it, the words always fall on deaf ears.
Only by… pic.twitter.com/f4mUr0VUxK
— Sanatan Prabhat (@SanatanPrabhat) December 22, 2024
घोटाला सामने आने के बाद कलकत्ता हाई कोर्ट ने आदेश दिया था कि शिक्षकों और गैर-शिक्षण कर्मचारियों की नियुक्तियां रद्द की जाएं । इस आदेश पर सुप्रीम कोर्ट ने रोक लगा दी थी । मुख्य न्यायाधीश संजीव खन्ना और न्यायमूर्ति संजय कुमार की पीठ ने मामले की सुनवाई करते हुए कहा कि दागी उम्मीदवारों को बाहर नहीं किया जा सकता; इसलिए हाई कोर्ट ने इस आधार पर भर्ती रद्द कर दी है । अतिरिक्त पद सृजित करने का उद्देश्य क्या था ? गडबडी उजागर होने के बाद भी दागी अभ्यर्थियों को निष्कासित क्यों नहीं किया गया ? क्या दाल में कुछ काला है या सारी दाल ही काली है ? कलंकित अभ्यर्थियों को विभिन्न श्रेणियों में विभाजित किया जा सकता है।
संपादकीय भूमिकागैंडे की खाल वाली सरकारों को अदालतें चाहे कितनी भी फटकारें, उन पर कभी कोई असर नहीं होता! उनके विरुद्ध सख्त कार्यवाही होनी चाहिए । ‘ ऐसा होने पर ही लोगों को सही मायने में कानून का राज मिलेगा ! |