स्‍थानीय लोगों द्वारा विरोध करने से एक राज्‍य के एक धर्माभिमानी ने ‘अखिल भारतीय हिन्‍दू राष्‍ट्र अधिवेशन’ में सम्‍मिलित होना रद्द किया !

यह है धर्मांध ईसाईयों की उद्दंडता ! इससे ‘प्रेम एवं शांति’ की बातें करनेवाले धर्मांधों का वास्‍तविक चेहरा सामने आता है ! ऐसे धर्मांध ईसाई भारत की अखंडता के लिए संकट हैं, यह समझें !

तनावमुक्‍त आनंदमय जीवन हेतु युवा स्‍वसूचना एवं अध्‍यात्‍म की ओर बढेें ! – सद़्‍गुरु डॉ. चारुदत्त पिंगळे, राष्‍ट्रीय मार्गदर्शक, हिन्‍दू जनजागृति समिति

ग्‍वालियर (म.प्र) – ‘‘कोरोना महामारी के कारण पढाई, नौकरी को लेकर युवाओं के मन में भविष्‍य की चिंता होना स्‍वाभाविक है । तनाव के कारण शारीरिक रोगों के साथ हमारे पढाई और दिनचर्या पर भी परिणाम होता है ।

गणेश चतुर्थी निमित्त विशेष बालसंस्‍कार सत्‍संग का ऑनलाइन आयोजन

वाराणसी (उत्तर प्रदेश) – यहां पर सनातन संस्‍था वाराणसी की ओर से गणेश चतुर्थी के पावन अवसर पर ९ से १३ वर्ष की आयुवर्ग के बच्‍चों के लिए भगवान गणेश से संबंधित धर्मशास्‍त्र पर आधारित ऑनलाइन बालसंस्‍कार सत्‍संग का आयोजन किया गया ।

‘आपातकाल और उसके लिए आवश्‍यक तैयारी’ विषय पर हिन्‍दू जनजागृति समिति की ओर से ‘ऑनलाइन बैठक’ के माध्‍यम से जागृति

देहली – आज संपूर्ण विश्‍व अनपेक्षित रूप से फैली कोरोना महामारी का दंश झेल रहा है; परंतु सनातन हिन्‍दू धर्म के द्रष्‍टा संतों ने आपातकाल के संदर्भ में पहले ही सबकुछ लिखकर सूचित किया है ।

‘ऑनलाइन’ अध्‍यात्‍मप्रसार

धर्मप्रेमी श्री. राधेश्‍यामजी से संपर्क करने पर उन्‍होंने कहा, ‘‘सत्‍संग एवं बच्‍चों के लिए बालसंस्‍कार वर्ग की बहुत आवश्‍यकता है; इसलिए आप मुझे उसकी भी लिंक भेजते रहिए ।’’ मुझे सनातन धर्म की सब जानकारी अच्‍छी लगती है ।’’ 

हिन्‍दू धर्म की रक्षा हेतु समर्पित जीवन जीनेवाली और निर्भीकता से सत्‍य कथन करनेवाली चेन्‍नई की उमा आनंदन् (आयु ६५ वर्ष) ६३ प्रतिशत आध्‍यात्मिक स्‍तर प्राप्‍त कर जन्‍म-मृत्‍यु के चक्र से हुईं मुक्‍त !

चेन्‍नई (तमिलनाडु) – १०.८.२०२० को ‘ऑनलाइन’ नवम ‘अखिल भारतीय हिन्‍दू राष्‍ट्र अधिवेशन’ में तमिलनाडु के हिन्‍दू कार्यकर्ताआें ने परिचर्चा में भाग लिया । इस परिचर्चा में हिन्‍दू मक्‍कल कच्‍छी के श्री. अर्जुन संपथ, टेम्‍पल वरशिपर्स सोसाइटी की उपाध्‍यक्षा उमा आनंदन् एवं श्रीमती अर्चना, आरटीआई कार्यकर्ता श्री. श्रीकुमार, अधिवक्‍ता पला संतोष, हिन्‍दू यूथ फोरम और हिन्‍दू … Read more

वाराणसी की श्रीमती दुर्गा चौबे ६१ प्रतिशत आध्‍यात्मिक स्‍तर प्राप्‍त कर जन्‍म-मृत्‍यु के चक्र से मुक्‍त !

     वाराणसी (उत्तर प्रदेश) – यहां की सनातन संस्‍था की साधिका श्रीमती दुर्गा चौबे ने समष्‍टि भाव, लगन, स्‍वअनुशासन आदि गुणों के कारण ६१ प्रतिशत आध्‍यात्मिक स्‍तर प्राप्‍त किया । यह आनंद वार्ता वाराणसी के सेवाकेंद्र में २५ अगस्‍त को फलक पर लिखकर घोषित की गई । इस समय पू. नीलेश सिंगबाळजी ने उनका … Read more

कोलकाता की साधिका श्रीमती बिपाशा प्रमाणिक ६१ प्रतिशत आध्‍यात्मिक स्‍तर प्राप्‍त कर जन्‍म-मृत्‍यु के चक्र से मुक्‍त !

पू. श्रीमती सुनीता खेमकाजी ने घोषित किया कि सनातन की साधिका श्रीमती बिपाशा प्रमाणिक ने ६१ प्रतिशत आध्‍यात्मिक स्‍तर प्राप्‍त किया है । यह आनंद वार्ता सुनकर सभी साधकों की भावजागृति हुई ।

साधको, ‘ईश्‍वर द्वारा ली जानेवाली साधना की प्रत्‍येक परीक्षा में उत्तीर्ण होना ही वास्‍तविक आध्‍यात्मिक प्रगति है’, इसे ध्‍यान में लें !

६० प्रतिशत अथवा उसके आगे का स्‍तर प्राप्‍त करना आध्‍यात्मिक उन्‍नति का केवल दृश्‍य स्‍वरूप है; किंतु वास्‍तविक प्रगति होती है ईश्‍वर द्वारा ली जानेवाली साधना की प्रत्‍येक परीक्षा में उत्तीर्ण होना !

शांत, स्‍थिर रहनेवाले पू. नीलेश सिंगबाळजी को जन्‍मदिन निमित्त सनातन परिवार की ओर से कृतज्ञता पूर्वक नमस्‍कार!

सनातन के ७२ वें संत पू. नीलेश सिंगबाळजी के जन्‍मदिन (भाद्रपद पूर्णिमा, २ सितंबर २०२०) के अवसर पर उनसे सीखने मिले कुछ सूत्र यहां दे रहे हैं ।