Mani Shankar Aiyar : (और इनकी सुनिए…) ‘चीन ने वर्ष १९६२ में भारत पर कथित आक्रमण किया था !’ – कांग्रेस के नेता मणीशंकर अय्यर

कांग्रेस के पाकिस्तान प्रेमी एवं चीनप्रेमी नेता मणीशंकर अय्यर द्वारा राष्ट्रघातकी वक्तव्य !

मणीशंकर अय्यर

नई देहली – वर्ष १९६२ में चीन द्वारा भारत पर किए आक्रमण को कांग्रेस नेता एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री मणीशंकर अय्यर ने ‘चीन का कथित आक्रमण’ कहने से विवाद निर्माण हुआ है । इस प्रकरण में अय्यर को उपस्थित लोगों ने प्रश्‍न पूछने पर उन्होंने तुरंत दिलगिरी व्यक्त की । यहां ‘फारेन करस्पॉडेंट क्लब’ में ‘नेहरूज फर्स्ट रिक्रूट्स’ नामक पुस्तक के विमोचन समारोह में वे ऐसा बोल रहे थे । इस वक्तव्य का वीडियो सामाजिक माध्यमों से प्रसारित हुआ है । भाजपा ने इस वक्तव्य को लेकर कांग्रेस की आलोचना की है ।

इस संदर्भ में भाजपा के सूचना एवं तकनीकी विभाग के अमित मालवीय ने ‘एक्स’ पर रखी हुई पोस्ट में कहा है, ‘चीन के कारण नेहरू ने भारत को मिलनेवाले संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के स्थायी सदस्यता पर पानी फेर दिया, राहुल गांधी चीन से गुप्तता से समझौता करते हैं, राजीव गांधी फाऊंडेशन ने चीनी दूतावास द्वारा निधि (धन) का स्वीकार किया एवं चीनी कंपनियों के लिए भारत का बाजार खुला कर दिया । अब कांग्रेस नेता चीनी आक्रमण का इतिहास मीटा देने का प्रयास कर रहे हैं । चीन द्वारा भारत की ३८ सहस्र वर्ग मीटर भूमि अवैध पद्धति से नियंत्रित की गई है ।’

पार्टी का अय्यर के वक्तव्य से संबंध नहीं ! – कांग्रेस

कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव जयराम रमेश ने मणीशंकर अय्यर के वक्तव्य पर कहा, ‘अय्यर ने ‘कथित आक्रमण’ यह शब्दप्रयोग भूल से किया है । इसके लिए उन्होंने तुरंत क्षमायाचना भी की है । उनकी आयु की ओर देखते हुए हमें उनको छूट देनी चाहिए । कांग्रेस पार्टी का उनके वक्तव्य से संबंध नहीं है ।’

संपादकीय भूमिका

  • मणीशंकर अय्यर निरंतर राष्ट्रघातकी वक्तव्य देते रहते हैं । तब कांग्रेस स्वयंको उनसे अलग रखने का प्रयास करती रहती है; परंतु अय्यर पर कार्यवाही नहीं करती, यह ध्यान में रखें !
  • चीन के आक्रमण के पश्चात संसद में चर्चा के समय तत्कालीन प्रधानमंत्री नेहरू ने चीन द्वारा हडप ली गई भारतीय भूमि के संदर्भ में कहा था, ‘वहां घास भी नहीं उगती ।’ इस पर से कांग्रेसवालों की मानसिकता ध्यान में आती है !