सनातन संस्था गत २५ वर्षों से मानव कल्याण के उद्देश्य से विविध उपक्रमों के माध्यम से कार्यरत है । तनाव एक सार्वत्रिक समस्या ऐसी बन गई है, जिससे समाज का प्रत्येक आयुवर्ग पीडित है । तनाव के कारण शारीरिक तथा मानसिक स्तर पर विविध बीमारियां होती हैं । अतएव तनाव को नियंत्रित करने के लिए शारीरिक, मानसिक स्तर के साथ-साथ आध्यात्मिक स्तर पर किस प्रकार से समाधान किया जा सकता हैं, इस दृष्टि से समाज की सहायता हो, इसके लिए समाज के विविध वर्गाें के लिए ‘तनाव निर्मूलन हेतु अध्यात्म’ विषय का आयोजन किया गया ।
बिहार
पटना – तनाव मुक्ति के लिए अध्यात्म का विषय मुजफ्फरपुर तथा गया के चैंबर ऑफ कॉमर्स में व्यापारियों के लिए तथा बार एसोसिएशन में अधिवक्ताओं के लिए लिया गया ।
समस्तीपुर – यहां के कृष्णा विद्यालय तथा आर.एस.बी. इंटर विद्यालय, गया के एलाइड इंटरनेशनल स्कूल में शिक्षकों के लिए यह विषय लिया गया ।
हाजीपुर – यहां के सॉफ्टनेट कोचिंग सेंटर तथा सोनपुर के एस.पी.एस. विद्यालय में तनाव का कारण तथा उसपर दी गई आध्यात्मिक दिशा को यह विषय सुनकर सभी लोग प्रभावित हुए ।
क्षणिकाएं
१. गया के चेंबर ऑफ कॉमर्स द्वारा सनातन संस्था को सम्मानित किया गया । वहां के अध्यक्ष ने, ‘इस विषय की आवश्यकता व्यापारी वर्ग को बहुत है, हम सभी का ज्ञानवर्धन हुआ है, आपको
साधुवाद !’ इन शब्दों में सराहना की ।
२. विषय सुनकर अनेकों ने साधना आरंभ करने की तैयारी दर्शाई ।
साधना से प्रारब्ध भोगने की क्षमता मिलती है ! – सद्गुरु नीलेश सिंगबाळ
पटना (बिहार) – यहां के कंकडबाग स्थित शिवशक्ति मंदिर में श्रद्धालुओं को संबोधित करते हुए धर्मप्रचारक संत सद्गुरु नीलेश सिंगबाळजी ने बताया कि ‘‘गत जन्मों में हमसे हुए कर्माें के अनुसार प्रारब्ध के भोग हमें इस जन्म में भोगने ही पडते हैं । साधना करने से प्रारब्ध भोगने की क्षमता प्राप्त होती है । इससे व्यक्ति कठिन प्रसंगों में भी स्थिर रह पाता है । कलियुग में नामस्मरण ही साधना है । इसलिए अपने कुलदेवता के नाम का अधिकाधिक स्मरण करें ।’’ श्रद्धालुओं ने शंकाएं पूछकर उसका समाधान प्राप्त किया । अब यहां साप्ताहिक सत्संग आरंभ हुआ है ।
उत्तर प्रदेश
वाराणसी – यहां के आर्य समाज इंटर कॉलेज चेतगंज में भारत विकास परिषद द्वारा आयोजित कार्यक्रम में, कचार तथा पुआरी कला गांव में, पिंडरा तहसील, तरना, आशापुर के आर.एस. कॉन्वेंट सैनिक स्कूल में तनावमुक्ति का विषय लिया गया । तनाव का कारण तथा उसपर दी गई आध्यात्मिक दिशा को सुनकर सभी लोग प्रभावित हुए । संत अतुलानंद विद्यालय तथा आर.एस. कॉन्वेंट सैनिक स्कूल के प्रधानाचार्य ने उनके ११ वीं तथा १२ वीं के छात्रों के लिए यह विषय लेने की विनती की ।
प्रयागराज – यहां के रुद्र प्रयाग विद्यामंदिर विद्यालय में भी इस विषय का लाभ लगभग २०० शिक्षकों तथा विद्यार्थियों ने उठाया । प्रधानाध्यापिका सहित सभी शिक्षक तथा विद्यार्थी विषय से बहुत प्रभावित हुए ।