हमें कब तक हिंसा सहन करनी चाहिए ? – असहाय बांगलादेशी हिन्दुओं का प्रश्न
ढाका – बांगलादेश के अल्पसंख्यक हिन्दुओं पर नियमित आक्रमण होने के विरोध में वहां के अनेक संगठनों ने देशव्यापी प्रदर्शन किए और फेरियां निकालीं । शांतिपूर्ण रूप से आयोजित इन आंदोलनों में हिन्दू बडी संख्या में सहभागी हुए थे । इसी के एक भाग के रुप में चटगांव में भी एक बडी फेरी निकाली गई । हिन्दुओं पर आक्रमण, हिन्दू शिक्षकों की हत्या और हिन्दू महिलाओं का बलात्कार के विरोध में आवाज उठाई गई ।
इसके पहले बांगलादेश के गृहमंत्री असदुज्जमा खान ने कहा कि, मेरी सरकार धार्मिक सौहार्द्र बिगाडने वाले लोगों के विरोध में कठोर कार्यवाही करने के लिए कटिबद्ध है । (‘हवा में महल बनाने का एक उदाहरण’, यही यह मामला ! – संपादक) बांगलादेश राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग ने भी गृह मंत्रालय को आक्रमणों की जांच कर हिन्दुओं पर होने वाले आक्रमण रोकने में दायित्वहीन भूमिका निभाने वालों के विरोध में कार्यवाही करने का आदेश दिया ।
संपादकीय भूमिका
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