केरल के कोचीन देवस्वम मंडल द्वारा संचालित एक महाविद्यालय में, माकप के छात्र संगठन ‘स्टूडेंट फेडरेशन ऑफ इंडिया’ द्वारा अश्लील फलकों (होर्डिंग) की प्रदर्शनी !

  • मंदिरों के सरकारीकरण के पश्चात, मंदिर प्रबंधन मंडलों द्वारा चलाए जा रहे महाविद्यालयों पर भी उसका ऐसा परिणाम दिखाई दे रहा है ; यह ध्यान में लेते हुए सरकारीकरण का विरोध करें ।– संपादक

  • देवस्वम मण्डल को, इन फलक लगाने वालों के विरुद्ध अपराध प्रविष्ट कर उन्हें कठोर दंड हो, इसके लिए प्रयास करना चाहिए ; परंतु, सत्तारूढ माकप द्वारा ऐसा प्रयास करना कठिन होने के कारण, हिन्दू संगठनों को इसके लिए प्रयास करना चाहिए !– संपादक

  • क्या माकपा छात्र संगठन अन्य धर्मियों के संगठनों द्वारा संचालित महाविद्यालयों में ऐसे फलक लगाने का साहस कर सकती है ?– संपादक

त्रिशूर (केरल) – यहां के श्री केरल वर्मा महाविद्यालय में मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी का छात्र संगठन, ‘स्टूडेंट फेडरेशन ऑफ इंडिया’ (‘एसएफआई’) द्वारा यौन स्वतंत्रता के नाम पर  आपत्तिजनक एवं अश्लील फलक लगाकर, भारतीय परंपरा का अपमान करने की बात सामने आई है । इन फलकों में, राष्ट्र्प्रेमियों की अवहेलना करने के साथ-साथ, जिहादियों का महिमामंडन किया गया है । सर्वोच्च न्यायालय की अधिवक्ता मोनिका अरोडा ने राष्ट्रीय महिला आयोग को पत्र लिखकर कार्यवाही की मांग की है । श्री केरल वर्मा महाविद्यालय, कोचीन देवस्वम मंडल द्वारा नियंत्रित किया जाता है । मंडल के सदस्यों की नियुक्ति केरल सरकार तथा हिन्दू समाज द्वारा की जाती है ।

१. इन फलकों में से एक पर दो देशों की सीमाएं दिखाई गई हैं । वहां एक सैनिक गश्त कर रहा है । वह सैनिक, दूसरे देश की सीमा पर एक महिला को चूमते हुए दिखाई गया है एवं उस फलक के नीचे अश्लील भाषा में लेखन किया गया है । दोनों देशों के मध्य की सीमा, अर्थात् भारत एवं पाकिस्तान है, ऐसा ध्यान में आता है ।

२. दूसरे फलक पर यौन स्वतंत्रता का समर्थन किया गया है । इसमें एक महिला एवं पुरुष नग्न होकर चुंबन ले रहे हैं । इस पर लिखा है कि, ‘पृथ्वी पर यौन स्वतंत्रता की आवश्यकता है ।’

३. तीसरे फलक पर, एक मुसलमान अमेरिकी राष्ट्रध्वज वाली पैंट पहने कुर्सी पर बैठा है तथा उसके बाजू में एके-४७ राइफल है । इसमें यह बताया जा रहा है कि, ‘यह चित्र अफगानिस्तान से अमेरिका का वापस आना तथा तालिबान शासन की स्थापना पर आधारित है ।’