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कोलकाता (बंगाल) – मैं विधि क्षेत्र से आता हूं । मुझे लगता है कि यह जानना महत्वपूर्ण है कि प्रत्येक कथा का एक दूसरा पक्ष भी होता है । गोडसे ने गांधी की हत्या पर एक पुस्तक लिखी है । वह बांग्ला भाषा में वह उपलब्ध थी किन्तु अब नहीं है । मुझे गोडसे का साहित्य पढने के उपरांत यह उजागर करने की आवश्यकता लगती है कि उन्होंने महात्मा गाधी को मारने का निर्णय क्यों किया । कलकत्ता उच्च न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश और भाजपा के प्रत्याशी अभिजीत गंगोपाध्याय ने अभी-अभी में एक समाचार वाहिनी को दिए एक साक्षात्कार में कहा, जब तक मुझे यह ज्ञात नहीं होता, मैं गांधी और गोडसे के बीच चयन नहीं करूंगा। इस वक्तव्य पर कांग्रेस ने कडी आपत्ति जताई है और बीजेपी से उनकी लोकसभा उम्मीदवारी वापस लेने की मांग की है ।
It is worse than pathetic that a judge of the Calcutta High Court, who resigned to contest the Lok Sabha polls as a BJP candidate blessed by none other than the Prime Minister, now says that he cannot choose between Gandhi and Godse. This is totally unacceptable and his…
— Jairam Ramesh (@Jairam_Ramesh) March 25, 2024
कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव जयराम रमेश ने ‘एक्स’ पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि गंगोपाध्याय वक्तव्य पूर्णरूपेण अस्वीकार्य है और उन्होंने गांधीजी के सामाजिक उत्तराधिकार को संरक्षित करने के लिए कोई प्रयास नहीं किया है. (इस देश के किसी भी नागरिक पर गांधीजी की विरासत को संरक्षित करने का कोई दायित्व नहीं है। सभी को व्यक्तिगत स्वतंत्रता है! – संपादक) इसलिए उनकी उम्मीदवारी तुरंत वापस ली जानी चाहिए। राष्ट्रपिता के विचारों की रक्षा के लिए आज के राष्ट्राध्यक्ष क्या निर्णय लेंगे? ऐसा प्रश्न जयराम रमेश ने भी उठाया ।
(सौजन्य : India Today)
Without knowing why #Godse killed #Gandhi, I cannot pick sides between the two.
– Abhijit Gangopadhyay, former #CalcuttaHighcourt judge and #BJP candidate from #Bengal#Congress demands withdrawal of Gangopadhyay's candidature.👉 Where do such ethics of Congress go when it's… pic.twitter.com/yEIIlklS5b
— Sanatan Prabhat (@SanatanPrabhat) March 26, 2024
संपादकीय भूमिका
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