वेल्लोर (तमिलनाडु में ईसाई मिशनरी अस्पताल की ‘समाजसेवा !’
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बंगलुरू (कनार्टक) – कर्नाटक में बसवना बागेवाडी के इराण्णा नागूर ने उनके लडके के उपचार के लिए तमिलनाडु के वेल्लोर में ईसाई मिशनरी अस्पताल में जानकारी पूछने पर वहां उनको लडके का बिनामूल्य उपचार करने के लिए कुछ शर्तें रखी । इसमें इराण्णा को ईसाई धर्म स्वीकारने के लिए और चर्च में कम से कम २ माह तक प्रार्थना करने के लिए बताए जाने का वृत्त ‘न्यू इंडियन एक्सप्रेस’ में छापा है । इराण्णा ने लडके के उपचार के लिए पहले ही ३ लाख रुपए खर्च किए थे । उनके पास खर्च करने के लिए और पैसे नहीं थे । उन्हें प्रतिमाह १२ सहस्र रुपए मिलते हैं ; उन्हे लगभग अपनी आधी आय लडके के वैद्यकीय उपचारों पर खर्च करना पडता था । उनकी इसी परिस्थिति का अपलाभ मिशनरी अस्पताल की ओर से उठाया गया ।
Vellore: Christian missionary hospital asks a Hindu family to convert to Christianity to provide free treatment for their 3-year-old ailing sonhttps://t.co/SSaUPsqAQ1
— OpIndia.com (@OpIndia_com) March 31, 2022
इराण्णा के बताएनुसार, ‘मैंने येशु को स्वीकारने का तय किया; कारण अस्पताल के अधिकारियों ने मेरे लडके का पूरा उपचार का खर्च उठाने का आश्वासन दिया था । उसी समय कर्नाटक के विजापूर जिले के ‘बी.एल.डी.ई. एसोसिएशन’ ने लडके के उपचार के लिए सहायता की ।’ उनकी इसी सहायता के कारण इराण्णा और उनका परिवार ईसाई धर्म स्वीकार करने से बचा ।