धर्मांतरण विरोधी कानून की भी मांग !
मूल रूप से, ऐसी मांग करने की आवश्यकता ही नहीं होनी चाहिए । हिन्दुओं को लगता है, कि केंद्र सरकार को स्वयं ही हिन्दुओं के हित में कानून बनाने चाहिए !– संपादक
नई देहली – विश्व हिन्दू परिषद ने केंद्र एवं सभी राज्य सरकारों से हिन्दू मंदिरों एवं धार्मिक संस्थाओं को सरकारी नियंत्रण से मुक्त करने के साथ-साथ, धर्मांतरण विरोधी कानून बनाने की मांग की है । यह जानकारी विहिप के अंतरराष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष आलोक कुमार ने दी ।
We have also talked to the central government for our temples that you (Centre) do not manage gurdwaras and mosques, then why our temples are in your possession. Make a law on it. Our temples should be returned: Alok Kumar, Vishva Hindu Parishad (VHP) pic.twitter.com/UAzednWqj8
— ANI (@ANI) July 18, 2021
"A representation has been submitted to the government and we are hopeful that it will consider it", the VHP saidhttps://t.co/4HrfeHCA7v
— India TV (@indiatvnews) October 31, 2021
आलोक कुमार ने आगे कहा,
१. तेलंगाना एवं आंध्र प्रदेश राज्यों में, हिन्दुओं के हो रहे सामूहिक धर्मांतरण, प्रलोभनों, छल एवं भय से प्रेरित हैं । विहिप इस प्रकार के धर्मांतरणों का संपूर्ण शक्ति के साथ विरोध करेगी एवं धर्मांतरित भाइयों एवं बहनों को पुनः हिन्दू धर्म में लाने का अभियान अधिक तीव्र करेगी ।
२. उत्तर प्रदेश एवं अन्य राज्यों के समान, तेलंगाना सरकार को भी धर्मांतरण विरोधी कानून बनाना चाहिए । हमने केंद्र सरकार से धर्मांतरण के विरुद्ध कानून बनाने की मांग की है । इस विषय में, केंद्र सरकार को एक निवेदन दिया गया है एवं हमें आशा है, कि वह इस पर विचार करेगी । विहिप मंदिर सरकारीकरण तथा धर्मांतरण, इन दोनों सूत्रों पर, जनता में जागरूकता उत्पन्न करने वाली है ।
३. तेलंगाना में गोहत्या की घटनाएं बढने के कारण, सरकार को गायों एवं गोवंश की रक्षा के लिए भी कानून बनाने चाहिए ।