श्रीलंका के राष्ट्रपति अनुरा कुमार दिसानायके का आश्वासन
नई दिल्ली – श्रीलंका के राष्ट्रपति अनुरा कुमार दिसानायके ने आश्वासन दिया है कि किसी को भी श्रीलंका की जमीन का इस्तेमाल भारत के विरुद्ध करने की इजाजत नहीं दी जाएगी। राष्ट्रपति बनने के बाद वह २ दिवसीय भारत दौरे पर आए हैं। उन्होंने यहां प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की और द्विपक्षीय वार्ता की । उस समय उन्होंने उक्त आश्वासन दिया । राष्ट्रपति बनने के बाद अनुरा कुमार दिसानायके की यह पहली विदेश यात्रा है।
राष्ट्रपति दिसानायके ने कहा कि,
श्रीलंका भारत की सहायता से आगे बढ़ेगा और पड़ोसी देश का समर्थन करना जारी रखेगा। लगभग २ साल पहले हमें एक बड़े वित्तीय संकट का सामना करना पड़ा। उस दलदल से निकलने में भारत ने हमारी बहुत मदद की । प्रधानमंत्री मोदी ने मुझसे कहा है कि भारत की विदेश नीति में श्रीलंका का महत्वपूर्ण स्थान है । पीएम मोदी ने मुझसे ये भी कहा कि मुझे खुशी है कि आपने राष्ट्रपति बनने के बाद अपनी पहली विदेश यात्रा के लिए भारत को चुना । इस दौरे से दोनों देशों के रिश्तों में नई ऊर्जा पैदा हो रही है । हमने अपनी साझेदारी के लिए भविष्योन्मुखी दृष्टिकोण अपनाया है।
श्रीलंका के राष्ट्रपति अनुरा कुमार दिसानायके ने राजघाट पर मोहनदास गांधी की समाधि पर पुष्पांजलि अर्पित की । उन्होंने कहा कि गांधी के सत्य और अहिंसा के शाश्वत मूल्य आज भी पूरी दुनिया में मानवता को प्रेरित करते हैं। (भारत में हिन्दुओं को भी अब इन मूल्यों की निरर्थकता का एहसास हो रहा है। इन कथित मूल्यों के कारण हिन्दुओं का आत्मघात हुआ , उनका देश दो टुकड़ों में बंट गया ! – संपादक )
संपादकीय भूमिकाश्रीलंका सरकार भारत की अवज्ञा में एक चीनी जासूसी जहाज को श्रीलंका में रुकने की अनुमति देती है। इसलिए, दिसनायके को कहना चाहिए कि न केवल जमीन ही नही अपितु , ‘श्रीलंका के समुद्री क्षेत्र और बंदरगाहों का भी इस्तेमाल नहीं करने दिया जाएगा ‘ ! |