Mahakumbh 2025 : जुना अखाडे के सहस्रो (हजारो) साधु-संतों का नगरप्रवेश !

प्रयागराज महाकुंभपर्व २०२५

सिद्ध समाधिबाबा शिवचेतन पुरीजी महाराज के समाधि के दर्शन लेते हुए श्री स्वामी अवधेशानंद गिरि जी महाराज

प्रयागराज, १४ दिसंबर (वार्ता.) – यहां १३ जनवरी से आरंभ होनेवाले महाकुंभपर्व हेतु श्रीपंचदशनाम जुना अखाडे के सहस्रो साधु-संतों ने १४ दिसंबर को भव्य शोभायात्रा द्वारा (पेशवाई द्वारा) नगरप्रवेश एवं तदनंतर अखाडा प्रवेश किया । इस अवसर पर अखाडे से संबंधित सहस्रो मठ-मंदिरों के साधु, संत, महंत एवं भक्त उपस्थित थे । इस शोभायात्रा में नागा साधुओं की विशेष उपस्थिति थी ।

दत्त जयंती के शुभ-मुहूर्त पर जुना अखाडा द्वारा श्री दत्तात्रेय भगवान की चरण-पादुकाएं लाकर संगम मार्ग से नगरप्रवेश किया गया । इस शोभायात्रा में १०० से अधिक रथ समाहित थे । सभी रथों पर आकर्षक सजावट की गई थी । सबसे आगे नागा साधुओं ने अखाडे का प्रतीक चिन्ह पकडा था । इसके साथ ही अखाडे के बडे ध्वज भी पकडकर रखे थे । उसके पीछे श्रीपंचदशनाम जुना अखाडा के आचार्यमहामंडलेश्‍वर अनन्तविद्याविभूषित श्री स्वामी अवधेशानंद गिरि जी महाराज का मयूर रथ था।

शोभायात्रा में उपस्थित साधु-संत
नागा साधुओं ने अखाडे का प्रतीक चिन्ह पकडा

उनके पीछे श्री महंत, महामंडलेश्‍वर, साधुओं के रथ थे। यह शोभायात्रा त्रिवेणी मार्ग के जुना अखाडा के निकट आनेपर स्वामी अवधेशानंद गिरि जी महाराज ने सिद्ध समाधिबाबा शिवचेतन पुरीजी महाराज के समाधि के दर्शन किए । इस शोभायात्रा ने परंपारिक वाद्यों एवं ढोल ताशा के निनाद में नगरप्रवेश एवं अखाडाप्रवेश किया । इस शोभायात्रा में नागा साधुओं ने तलवार के साथ अन्य हथियारों को प्रस्तुत किया । मुख्य रथ के आगे अनेक अखाडों से संबंधित अनेक साध्वी उपस्थित थीं । इस अवसर पर पुलिस एवं प्रशासन की ओर से श्री स्वामी अवधेशानंद गिरि जी महाराज का सम्मान किया गया । इसी के साथ रथों पर अनेक स्थानों पर से पुष्पवृष्टि की गई ।