कोलकाता – बंगाल विधानसभा ने ‘अपराजिता’ बलात्कारविरोधी विधेयक एकमत से सम्मत किया है । विपक्षी दलों ने भी इस विधेयक का पूर्ण समर्थन किया है । सरकारी आर.जी. कर चिकित्सकीय महाविद्यालय एवं चिकित्सालय में पिछले माह एक महिला चिकित्सक पर बलात्कार कर उसकी निर्मम हत्या करने की घटना के उपरांत विधानसभा का विशेष सत्र बुलाया गया था । राज्य के कानूनमंत्री मलय घटक ने यह विधेयक (बिल) प्रस्तुत किया । इस विधेयक में यदि बलात्कार की घटना में पीडिता की मृत्यु अथवा वह कोमा (प्रगाढ बेहोशी) में चली गई, तो अपराधियों को फांसी के दंड का प्रावधान किया गया है ।
बलात्कार एवं हत्या करनेवाले अपराधियों को मृत्युदंड !
इस बिल के अनुसार, बलात्कार एवं हत्या करनेवाले अपराधी को फांसी के दंड का प्रावधान है । ऐसे प्रकरणों में पुलिस को २१ दिन में जांच पूर्ण करनी होगी । इस विधेयक में अपराधी पर याचिका प्रविष्ट करने के उपरांत ३६ दिनों में मृत्युदंड का प्रावधान है । इस विधेयक में अपराधी को यदि कोई सहायता करता है, तो उसे ५ वर्षों के कारावास का दंड दिया जाएगा ।