आगामी काल में सर्व नष्ट हो जाएगा ! – महर्षि
‘आगामी काल घोर आपातकाल है । सभी स्थानों पर भूमि पर अपनेआप दरार पड जाएगी अर्थात भूकंप होंगे । अनेक स्थानों पर अन्य प्राकृतिक आपदाएं भी आएंगी । ऐसी प्रतिकूलता अनेक देशों में होनेवाली है ।
‘आगामी काल घोर आपातकाल है । सभी स्थानों पर भूमि पर अपनेआप दरार पड जाएगी अर्थात भूकंप होंगे । अनेक स्थानों पर अन्य प्राकृतिक आपदाएं भी आएंगी । ऐसी प्रतिकूलता अनेक देशों में होनेवाली है ।
मडगांव में वर्ष २००९ में दीपावली की पूर्वसंध्या को हुए बमविस्फोट के प्रकरण में ६ आरोपियों की निर्दोषता मुंबई उच्च न्यायालय की गोवा खंडपीठ ने भी स्वीकार की ।
भारत के कश्मीर से ३० वर्ष पूर्व जिहादी आतंकी और धर्मांधों के कारण पलायन करने पर विवश हुए हिन्दुओं के प्रति सहानुभूति दर्शाने और उनके नरसंहार के संदर्भ में चर्चा करने हेतु ब्रिटेन के सत्ताधारी दल के सांसद बॉब ब्लैकमैन ने संसद में प्रस्ताव प्रस्तुत किया है ।
अयोध्या में श्री राम के जन्मस्थान पर, भारत में धार्मिक खाई निर्माण करने के लिए पाकिस्तान की जासूसी एजेंसी आईएसआई द्वारा बाबरी ढांचा गिराने के लिए लोग भेजे गए थे, इस बात की खुफिया जानकारी होते हुए भी केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो ने जांच नहीं की, विशेष अदालत ने बाबरी ढांचा विध्वंस प्रकरण के अपने निर्णय में ऐसा कहा है ।
नई देहली – मंत्र, यज्ञ एवं संगीत के संदर्भ में वैज्ञानिक अध्ययन करनेवाले देहली के मान्यवरों के लिए महर्षि अध्यात्म विश्वविद्यालय की ओर से चल रहे शोधकार्य की जानकारी देनेवाला ‘ऑनलाइन’ प्रस्तुतीकरण किया गया ।
काशी हिन्दू विश्वविद्यालय के न्यूरोलॉजी विभाग के एक शोधदल ने शोध किया है कि ‘गंगाजल का सेवन करनेवाले ९० प्रतिशत लोगों में कोरोना का संक्रमण नहीं हुआ ।’ इस विभाग ने यह शोधलेख ‘मेडिकल साइन्स एथिकल’ संस्था के पास भेजा है ।
‘वर्तमान में सनातन संस्था और हिन्दू जनजागृति समिति के संयुक्त तत्त्वावधान में ‘फेसबुक’ और ‘यू ट्यूब’ सामाजिक प्रसारमाध्यमों द्वारा ‘नामजप सत्संग’, ‘बालसंस्कार वर्ग’, ‘भावसत्संग’ तथा ‘धर्मसंवाद’ इस ‘ऑनलाइन सत्संग शृंखला’ का आयोजन किया जा रहा है ।
आपातकालीन लेखमाला के इस लेख में हम परिवार के लिए आवश्यक नित्योपयोगी वस्तुआें के विषय में समझेंगे । ये वस्तुएं कौन-सी हैं, ऋतुआें के अनुरूप आवश्यक वस्तुएं, सुरक्षा के लिए आवश्यक वस्तुएं आदि के विषय में इस लेख में जानकारी दी गई है ।
‘कोरोना’ के कारण उत्पन्न यह आपातकालीन स्थिति और अगस्त २०१९ में अतिवृष्टि के कारण महाराष्ट्र और कर्नाटक राज्यों में उत्पन्न स्थिति आपातकाल आरंभ होने का ही लक्षण है ।
‘तीसरे विश्वयुद्ध के काल में वाहनों के लिए पेट्रोल और डीजल नहीं होगा । सुधारने के लिए खुले भाग (स्पेयर पार्ट्स) न मिलने के कारण वाहन होकर भी न होने के समान होंगे । तब किसी रोगी को चिकित्सक के पास ले जाना भी असंभव होगा ।