देवास (मध्य प्रदेश) – श्री गणेश हमारे आराध्य हैं । उनकी भक्ति से हमें उनकी कृपा प्राप्त करनी है । भक्ति निर्माण होने के लिए श्री गणेश, उनका कार्य और मूर्तिविज्ञान समझना, शास्त्र के अनुसार उनकी उपासना करना आवश्यक है । श्री गणेश का आगमन हमें आध्यात्मिक लाभ प्रदान करता है । पर क्या हम वह लाभ ले रहे हैं क्या ? इसका विचार हमें करना होगा, ऐसा प्रतिपादन हिन्दू जनजागृति समिति के मध्य प्रदेश एवं राजस्थान समन्वयक श्री. आनंद जाखोटिया ने किया । वे श्री क्षत्रिय मराठा समाज के श्री. समरजितसिंह जाधवराव के प्रयासों से गणेशभक्तों के लिए आयोजित एक ऑनलाइन प्रवचन को संबोधित कर रहे थे ।
श्री. जाखोटिया ने आगे बताया कि ‘‘आज श्री गणेश का अनादर करनेवालों का विरोध करना, यह भी एक प्रकार से गणेशजी की भक्ति ही है । पर्यावरण रक्षा के लिए पूरे वर्ष कुछ भी न बोलनेवाले और धर्म न माननेवाले आज हिन्दुओं को गणेशमूर्ति कैसी हो, विसर्जन कैसा हो, इसके विषय में परामर्श दे रहे हैं । परंतु उनके बहकावे में न आते हुए हमें शास्त्र के अनुसार ही विसर्जन करेंगे, तो हमें लाभ होगा ।’’
मध्य प्रदेश और राजस्थान में श्री गणेशभक्तों के लिए ऑनलाइन प्रवचन !
जयपुर (मध्य प्रदेश) – सनातन संस्था एवं हिन्दू जनजागृति समिति द्वारा ८ सितंबर को श्री गणेश चतुर्थी के उपलक्ष्य में एक ऑनलाइन प्रवचन का आयोजन किया गया । अनेक गणेशभक्तों ने इस कार्यक्रम का लाभ लिया । इस प्रवचन में भी समिति की ओर से श्रीमती मातंगी तिवारी ने श्री गणेश जी शास्त्रानुसार पूजा कैसे करें, किस प्रकार की मूर्ति की स्थापना करे, भावभक्ति कैसे बढाएं, विसर्जन की उचित पद्धति क्या है, इसपर मार्गदर्शन किया ।