तबलिगी जमात प्रकरण में ३ समाचारवाहिनियों पर जुर्माना और दर्शकों से क्षमा मांगने का न्यूज ब्रोडकास्टिंग एथोरिटी का निर्देश

बेंगलुरू (कर्नाटक) – पिछले वर्ष देहली स्थित निजामुद्दीन मरकज के तबलिगी जमात के सदस्यों के देहली से अपने-अपने गांव वापस जाने के उपरांत देश में बडी मात्रा में कोरोना का प्रकोप बढा था । उसके कारण प्रसारमाध्यमों, साथ ही राजनेताओं द्वारा तबलिगी जमातवालों को उत्तरदायी कहा जाने लगा । उसके उपरांत देश के विविध न्यायालयों ने इस प्रकार के वार्तांकन को आपत्तिजनक बताया था । उस समय किए गए वार्तांकन के आधार पर कर्नाटक की ३ समाचारवाहिनियों पर जुर्माना लगाया गया है, साथ ही दर्शकों से क्षमा मांगने के लिए कहा गया है । ‘न्यूज ब्रॉडकास्टिंग एथॉरिटी (एन्.बी.एस्.ए.) अर्थात समाचार प्रसारण मानक संस्था ने यह कार्यवाही की है ।

१. एन्.बी.एस्.ए. ने कहा कि तबलिगी जमात के संदर्भ में किया गया वार्तांकन अत्यंत आपत्तिजनक और केवल अनुमान पर आधारित था । समाचारवाहिनियों पर प्रसारित कार्यक्रमों की भाषा अभद्र थी, उसमें पूर्वाग्रह था, कार्यक्रम की भाषा उकसानेवाली थी और धार्मिक भावनाओं का विचार न कर सामाजिक सौहार्द को तोडनेवाली थी । सामाजिक तनाव उत्पन्न कर उसे उकसानेवाली और प्रोत्साहन देनेवाली भाषा थी ।

२. इस प्रकरण में एन्.बी.एस्.ए. ने एक समाचारवाहिनी पर १ लाख, तो दूसरी प्रादेशिक समाचारवाहिनी पर ५० सहस्र रुपए का जुर्माना लगाया है । इस जुर्माने के साथ ही इन समाचारवाहिनियों को इस कार्यक्रम के संदर्भ में २३ जून को रात ९ बजे प्रसारित किए जानेवाले समाचारपत्र से पूर्व दर्शकों से क्षमा मांगने का निर्देश भी दिया है ।

३. इस प्रकरण में एन्.बी.एस्.ए. ने कहा है कि एक अंग्रेजी समाचारवाहिनी को भी दोषी प्रमाणित कर उसपर जुर्माना लगाया गया है । इस अंग्रेजी समाचारवाहिनी ने तबलिगी जमात के कार्यक्रम से संबंधित और उसके उपरांत प्रसारित दृश्य मेल नहीं खाते हैं ।