कुंभ मेले में अखाडों को आधारभूत सुविधा न मिलने से साधु संतों में भडका रोष : अपर मेला अधिकारी से धक्कामुक्की

  • संपूर्ण विश्व का ध्यान आकर्षित करने वाले हिंदूओं के सबसे बडे कुंभ मेले को कम से कम आधारभूत सुविधाएं उपलब्ध न करने वाले अकार्यक्षम प्रशासकीय अधिकारियों पर भाजपा शासित सरकार ने कठोर कार्यवाही करनी चाहिए, यही धर्मप्रेमी हिंदूओं की अपेक्षा है ।
  • प्रशासन ने कुंभ मेला चालू होने पर भी साधु- संतों को कम से कम आधारभूत सुविधाएं भी न देने की संवेदनशीलता न दिखाने से ही यह घटना हुई है, ऐसा लगने में आश्चर्य क्या ?
  • अल्पसंख्यकों के उत्सवों के समय आधाभूत सुविधा उपलब्ध न करने की हिम्मत उत्तराखंड प्रशासन करेगा ?
पायाभूत सुविधाएं सिद्ध करने का कार्य करते हुए कर्मचारी

हरिद्वार, २ अप्रैल (वार्ता.) – बैरागी अखाडे के अनेक साधु संतों के अखाडों को बिजली की सुविधा के साथ अन्य आधारभूत सुविधाएं अभी तक उपलब्ध नहीं हुई हैं । इस कारण १ अप्रैल २०२१ की रात को बैरागी अखाडे की एक बैठक में अपर मेला अधिकारी हरबीर सिंह को साधु संतों के रोष का सामना करना पडा । कुछ संतों ने अन्य आधाभूत सुविधाएं कम प्रमाण में अभी तक उपलब्ध न होने के विषय में प्रशासन से पूछा । प्रशासन द्वारा हो रही इस लापरवाही के कारण बैठक में हरबीर सिंह से हल्का वाद- विवाद होकर उनसे धक्कामुक्की करने की घटना हुई ।

१. विविध अखाडों के साधुसंतों को बारंबार मेला कार्यालय में प्रशासन के चक्कर काटने पड रहे हैं । बारबार विनती करने पर भी भूमि आबंटन के साथ अन्य आधारभूत सुविधाएं न मिलने से अधिकारी और साधु-संतों में झगडे भी होते थे । तब भी प्रशासन द्वारा इस ओर विशेष ध्यान न देकर धीमी गति से ही कामकाज चालू था ।

कुंभमेलामें अखाडों की ओर जानेका खराब हुआ रास्ता (मार्ग)

२. अखिल भारतीय निर्मोही और अखाडों में आधारभूत सुविधाओं के विषय में हरबीर सिंह के साथ बैठक हो रही थी । इस समय कुछ संतों ने बिजली व्यवस्था में प्रशासन की ओर से भेदभाव किए जाने का आरोप लगाया । इसके साथ शौचालय, प्याऊ ये सुविधाएं भी कुछ स्थानों पर अभी तक नहीं पहुंची हैं । अंतर्गत रास्तों पर अभी भी गिट्टी नहीं डाली गई है, यह ध्यान में लाकर दिया । अन्य कुछ संतों ने अन्य आधारभूत सुविधाएं पर्याप्त मात्रा में अभी भी न उपलब्ध होने के विषय में प्रशासन से पूछा ।

३. प्रशासन की ओर से हो रही लापरवाही के कारण बैठक में हरबीर सिंह के साथ अल्प विवाद होकर धक्कामुक्की हुई ।

४. इस घटना के विषय में सिंह के पूछने पर ‘उन्होंने सभी आधारभूत सुविधाएं उपलब्ध करने का दावा कर गलतफहमी से रात की घटना हुई’, ऐसा बताया । (प्रत्यक्ष में अनेक साधु- संतों के पंडाल तक रास्तों के साथ अन्य आधाभूत सुविधाएं नही पहुंची है । ऐसा होते हुए भी इस प्रकार के विधान करने वाले अधिकारी की सरकार को छुट्टी करनी चाहिए, तभी अन्य अधिकारी असंवेदनशीलता दिखाने का धाडस नहीं करेंगे, ऐसा सामान्य जनता को लगता है ! – संपादक)

इतना ही नहीं, मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत के मंत्री मंडल के we अनेक मंत्रियों के साथ कुछ केंद्रीय मंत्रियों को भी कुंभ मेले में अखाडों की सुविधाएं मिलनी चाहिए; इसलिए मार्च महीने में अनेक दौरे किए, कुछ के दौरे अभी भी चालू हैं । साधु- संतों और भक्तों को समय पर सुविधाएं मिले, इसलिए राज्य स्तर पर भी मुख्य सचिव के साथ साथ अनेक अधिकारी भी बारबार दौरे कर रहे हैं । प्रशासन ने १ अप्रैल से पहले सभी अखाडों को आधारभूत सुविधाएं उपलब्ध करवाने का बारबार आश्वासन भी बैठकों के माध्यम से दिया था । कुंभ मेले के लिए विकास कार्यों पर करोडो रुपए व्यय कर काम होने का दावा मुख्यमंत्री कर रहे हैं; प्रत्यक्ष में सरकार ने घोषित किया कुंभ मेला १ अप्रेल से शुरू होकर भी बैरागी अखाडों में अभी भी अनेक स्थानों पर अंतर्गत रास्तों के साथ अन्य आधारभूत सुविधाएं उपलब्ध करवाने में प्रशासन पूर्णरुप से असफल रहा है। ऐसा चित्र दिख रहा है ।