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(‘डीप स्टेट’ सरकारी अधिकारियों और निजी संस्थाओं का एक गुप्त नेटवर्क है । इस व्यवस्था के माध्यम से सरकारी नीतियों को निजी संस्थाओं के अनुकूल बनाया जाता है ।)

लंदन (ब्रिटेन) – व्हाइट हाउस में हुए विवाद से अमेरिका अथवा यूक्रेन को नहीं, अपितु केवल रूसी राष्ट्रपति पुतिन को लाभ हुआ । यूक्रेनी राष्ट्रपति जेलेंस्की ने कहा, “यदि मुझे खनिज समझौते के लिए बुलाया गया तो मैं व्हाइट हाउस पुुन: जाऊंगा।” पदभार ग्रहण करने के उपरांत से ही अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रम्प जेलेंस्की से युद्ध रोकने और यूक्रेन में खनिजों के संबंध में अमेरिका के साथ समझौता करने का आग्रह कर रहे है । जेलेंस्की ट्रम्प के साथ खनिज समझौते पर हस्ताक्षर करने के लिए २८ फरवरी को संयुक्त राज्य अमेरिका पहुंचे; किन्तु ट्रम्प के साथ उनका विवाद हो गया । उसके उपरांत जेलेंस्की बिना कोई समझौता किये लंदन चले गये । कहा जा रहा है कि उन्होंने उपरोक्त वक्तव्य अब दिया है क्योंकि उन्हें यूक्रेन के हितों की प्रतीति हो गई है । ट्रम्प ने अभी तक जेलेंस्की के वक्तव्य पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है ।
१. जेलेंस्की ने कहा कि उन्हें आशा है कि यूक्रेन की सुरक्षा गारंटी की मांग सुनी जाएगी । यदि दोनों पक्ष सहमत हों तो अनुबंध पर हस्ताक्षर किए जायेंगे । संयुक्त राज्य अमेरिका को यूक्रेन का पक्ष सुनना चाहिए । हमारे भागीदारों को यह बात ध्यान में रखनी होगी कि ‘इस युद्ध में आक्रमणकारी कौन है ?’
२. जेलेंस्की ने सामाजिक माध्यम पर एक लघु चलचित्र भी साझा किया है । उसमें उन्होंने कहा, ‘‘हम अमेरिका के महत्व को समझते हैं।’’ ऐसा कोई दिन नहीं बीता जब मैंने अमेरिका को धन्यवाद न दिया हो । हम सभी इस बात से सहमत हैं कि शांति के लिए सुरक्षा की गारंटी आवश्यक है । पूरे यूरोप में यही स्थिति है ।
संपादकीय भूमिका
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