मद्रास उच्च न्यायालय ने मंदिरों में मुख्य पुजारियों की नियुक्ति का प्रकरण ‘यथावत’ रखने का आदेश दिया !
ध्यान रखें, जब मंदिरों का सरकारीकरण हो जाता है, तब किसी को भी मंदिर का पुजारी एवं सेवक नियुक्त कर, सरकार हिन्दू परंपराओं का हनन करती है !
ध्यान रखें, जब मंदिरों का सरकारीकरण हो जाता है, तब किसी को भी मंदिर का पुजारी एवं सेवक नियुक्त कर, सरकार हिन्दू परंपराओं का हनन करती है !
मंदिर का व्यवस्थापन संभालने के लिए भक्तों को ही आगे आकर ‘मंदिर सरकार के नहीं, भक्तों के नियंत्रण में होने चाहिएं’, यह उन्हें कांग्रेस सरकार को कठोरता से बताना चाहिए । इसके लिए धार्मिक संस्थाओें को भी आगे आना चाहिए !