पिछले वर्ष महाराष्ट्र के विभिन्न जिलों में निकले हिन्दू जनसंघर्ष मोर्चाओं में हिन्दुओं की एकजूट देखकर सभी राजनीतिकत दलों को राजनीतिक स्वार्थ छोडकर एकत्र आना पडा । इन मोर्चाओं के कारण हिन्दुओं में आत्मविश्वास बढकर उनमें हिन्दुत्व के विरुद्ध हो रहे आघातों के विरुद्ध एकत्रितरूप से लडने की मानसिकता निर्माण हुई तथा उसकी झलक श्रीरामनवमी के दिन हुए दंगे के उपरांत देखने को मिली । अन्य समय पर ऐसी घटना घटित होने पर हिन्दुओं में तनाव का वातावरण होता था; परंतु इस बार हिन्दुओं ने तनाव न लेकर बडी संख्या में सडकों पर उतरकर उत्साह के साथ श्रीरामनवमी मनाई । इन मोर्चाओं के उपरांत यह बहुत बडा सकारात्मक परिवर्तन दिखाई दिया । ये मोर्चे तो हिन्दू राष्ट्र की दृष्टि से समाज में क्रांति की ज्योति प्रज्वलित करने का माध्यम सिद्ध हो रहे हैं । हमें यही न रुककर हिन्दुओं पर हो रहे आघातों के विरुद्ध आवाज उठानी है । जबतक मातृभूमि से लव जिहाद एवं धर्मांतरण का षड्यंत्र नष्ट होकर हिन्दू राष्ट्र की स्थापना नहीं हो जाती, तबतक हमें यह संघर्ष जारी रखना है । हिन्दू जनसंघर्ष मोर्चे हिन्दू राष्ट्र की ओर बढाए हुए कदम ही हैं, ऐसा आश्वासक प्रतिपादन हिन्दू जनजागृति समिति की संभाजीनगर की समन्वयक कु. प्रियांका लोणे ने किया । वैश्विक हिन्दू राष्ट्र महोत्सव के चौथे दिन (१९.६.२०२३ को) उपस्थित हिन्दुत्वनिष्ठों को संबोधित करते हुए वे ऐसा बोल रही थीं ।