द्वारका (गुजरात) के द्वारकाधीश मंदिर पर आकाशीय बिजली गिरी; लेकिन मंदिर को कोई हानि नहीं !

द्वारकाधीश ने हमें बडे संकट से बचाया ! – स्थानीय नागरिक

द्वारकाधीश मंदिर

द्वारकाधीश (गुजरात) – यहां के प्रसिद्ध द्वारकाधीश मंदिर के ५२ फुट उंचाई पर लगे ध्वज पर १३ जुलाई के दिन दोपहर २.३० बजे आकाशीय बिजली गिरने से ध्वज की कम मात्रा में हानि हुई । इसमें द्वारकाधीश मंदिर की कुछ भी हानि नहीं हुई । बिजली गिरी तब मंदिर मे पूजा-अर्चना चल रही थी और श्रद्धालु भी उपस्थित थे । ‘मंदिर के किसी हिस्से पर बिजली गिरी, यह पहली बार ही हुआ है । द्वारकाधीश अर्थात स्वयं श्रीकृष्ण जहां विराजमान हैं, वहां के लोगों पर किसी भी प्रकार का संकट नहीं आएगा । द्वारकाधीश ने शहर के नागरिकों को बडी दुर्घटना से बचाया है’, ऐसा स्थानीय नागरिक कह रहे हैं । मंदिर के आसपास बहुत घनी आबादी पर यदि बिजली गिरी होती, तो बडी हानि होती । द्वारकाधीश मंदिर के ऊपर लगे ध्वज का एक विशेष महत्व है । इस ध्वज को ’५२ फुट ध्वजा’ ऐसा कहते हैं ।

द्वारकाधीश मंदिर का महत्व !

द्वारकाधीश मंदिर  गुजरात का सबसे प्राचीन एवं पवित्र मंदिर माना जाता है । यह मंदिर गोमती नदी के किनारे पर स्थित है । भगवान श्रीकृष्ण का यह मंदिर है । देश में श्रीकृष्ण के कुछ प्रमुख मंदिरों में से यह एक माना जाता है । द्वारकाधीश मंदिर लगभग २ सहस्र २०० वर्ष प्राचीन होकर इसे वठकानाभ ने बनाया ऐसा कहा जाता है । इस मंदिर के परिसर में भगवान श्रीकृष्ण के साथ सुभद्रा, बलराम, रेवती, वासुदेव, रुक्मिणी के साथ अनेक देवी देवताओं के भी मंदिर है । यहां श्रीकृष्ण जन्माष्टमी को होने वाले उत्सव को देखने के लिए बड़ी संख्या में नागरिक आते हैं ।