६ माह में जांच करने का मद्रास उच्च न्यायालय का आदेश
देश की एक महत्वपूर्ण सुरक्षा एजेंसी की ओर से एक संवेदनशील मामले में ऐसा ढिलाइपाना हो रहा होगा, तो उसका समग्र कार्य वैसे चल रहा होगा, यह सोचना भी उचित नही होगा ! इसमें सम्मिलित उत्तरदायी लोगों पर कार्यवाही करना आवश्यक है !
चेन्नई (तामिलनाडू) – यहां एक छापे में सी.बी.आई. द्वारा जप्त किया गया १०३ किलो सोना गायब हो गया है । कुल ४५ कोटि रुपए मूल्य का यह सोना सी.बी.आई. की हिरासत से गायब होने पर मद्रास उच्च न्यायालय ने तामिलनाडु सी.बी.-सी.आई.डी. को जांच करने का आदेश दिया है ।
103 kg gold worth Rs 45,00,00,000 (45 crore) has gone "missing" from the "safe" custody of CBI #Gold #CBI | @TanseemHaider https://t.co/mMMlve1VXM
— IndiaToday (@IndiaToday) December 12, 2020
‘इस मामले के कारण जांच एजेंसियों की प्रतिष्ठा कम हो रही है । इसलिए ६ माह के अंदर इसकी जांच की जानी चाहिए’, ऐसा न्यायालय ने अपने आदेश में कहा है ।
वर्ष २०१२ में चेन्नई स्थित सुराना कॉरपोरेशन लिमिटेड के कार्यालय में छापा मारकर सोने की ईटें और गहने के रूप में ४००.५ किलो सोना जप्त किया गया था । पूरा सोना सी.बी.आई. की ‘सेफ कस्टडी’ में रखा था जिसमें से १०३ किलो सोना गायब हो गया है ।