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नई देहली – ईसाईयों के भूतपूर्व सर्वोच्च धर्मगुरु पोप बेनेडिक्ट १६वें के निधन के पश्चात उनकी पुस्तक ‘ईसाई धर्म क्या है ?’ प्रसिद्ध हुई है । उसमें उन्होंने वेटिकन के अंतर्गत चलाए जानेवाले कैथॉलिक चर्च के अनैतिक घटनाओं की जानकारी उजागर की है । इसमें ऐसा दावा किया गया है कि, पादरी बनने का प्रशिक्षण देनेवाले शिविरों में समलैंगिक क्लब चलाया जाता है । चर्चा हो रही है कि ‘ऐसे दावों के चलते कदाचित उन्होंने अपनी यह पुस्तक उनकी मृत्यु के उपरांत प्रसिद्ध करने को कहा था ।’
🔴 New book by the late pontiff makes extraordinary claims about the Catholic Church under his progressive successor https://t.co/u0Af3wghJv
— The Telegraph (@Telegraph) January 23, 2023
१. पोप बेनेडिक्ट १६वें की पुस्तक में कहा गया है कि, पोप फ्रान्सिस के कार्यकाल में पादरी बनने के लिए दिए जा रहे प्रशिक्षण शिविरों में विशेषतः अमेरिका के शिविरों में खुलेआम समलैंगिक क्लब चलाए जाते हैं । वे खुलेआम यह काम कर रहे हैं । इन सभी अनैतिक कामों के कारण शिविरों के वातावरण में परिवर्तन हुआ है ।
२. इस पुस्तक में आगे दावा किया गया है कि, एक बिशप ने (अपर श्रेणी के पादरी ने) शिविर में अश्लील चलचित्र दिखाने की अनुमति दी थी ।
३. दक्षिण जर्मनी के एक शिविर में पादरी एवं छात्र एकत्रित रहते थे, तथा पत्नी, बच्चों एवं कुछ प्रसंगों में गर्लशफ्रैंड के साथ भोजन करते थे ।
VATICAN—Slowly making my way through the newly released book by Pope Benedict XVI, entitled “Che cos'è il Cristianesimo?”—“What is Christianity”.
This portion is striking—note the actions of US Bishops in light of recent reactions by US-based “Trad” influencers, for context: pic.twitter.com/ejirxa1wwZ
— Bree A Dail (@breeadail) January 24, 2023
संपादकीय भूमिकाजब स्वयं भूतपूर्व पोप ही यह जानकारी उजागर करते हैं, तो पादरियों की नैतिकता शेष रहती ही नहीं है ! इस विषय में भारत के निधर्मीवादी, आधुनिकतावादी कभी भी मुंह नहीं खोलेंगे अथवा प्रसारमाध्यम भी इसके समाचार प्रसारित नहीं करेंगे ! |