|
राजस्थान – राज्य के कांग्रेस के मुख्यमंत्री अशोक गेहलोत की सरकार अल्पसंख्यकों के विकास के लिए ९८ करोड रुपए खर्च करनेवाली है । विविध योजनाओं से प्रस्तावित इस प्रस्ताव को उन्होंने सहमति दी है । यह धनराशि राजस्थान के मदरसों और कब्रस्तानोंसहित अल्पसंख्यक शिक्षा छात्रवृत्ति एवं अनुदान के लिए उपयोग की जाएगी । इसके लिए अल्पसंख्यकों ने कई बार मांग की थी । (कांग्रेस अल्पसंख्यकों को गोद में लेकर उनका लाड-दुलार करती है और हिन्दुओं की मांगों को कूढादान दिखाती है ! – संपादक)
Rajasthan govt to spend Rs 5 crore on waqf land, madrasas; sanctions Rs 98.5 crores out of Rs 100 crores for upliftment of minoritieshttps://t.co/XViaDUyU7g
— OpIndia.com (@OpIndia_com) January 18, 2022
कांग्रेस के मुख्यमंत्री गेहलोत द्वारा अल्पसंख्यकों के लिए पारित की गई कुछ योजनाएं औहर उनके लिए आवंटित धनराशि निम्नानुसार है –
१. अल्पसंख्यका बस्तियों में मुलभूति सुविधाओं के विकास के लिए ४४ करोड रुपए
२. जयपुर में अल्पसंख्यक बच्चों को अंग्रेजी माध्यम का निवासी विद्यालय बनाने के लिए २१ करोड ८० लाख रुपए
३. अल्पसंख्यक किसानों के लिए १५ करोड ४२ लाख रुपए
४. वक्फ के स्वामित्ववाली भूमि पर अथवा सार्वजनिक भूमिपर कब्रस्तानों, मदरसों और विद्यालयों के निर्माण के लिए ५ करोड रुपए का प्रावधान
५. अल्पसंख्यकों को रोजगारभिमुख बनाने के लिए अंतरराष्ट्रीय भाषाओं की शिक्षा के लिए २ करोड रुपए का प्रावधान इसके साथ ही मुख्यमंत्री गेहलोत ने डॉ. आंबेडकर विधि विश्वविद्यालय में सहायक प्राध्यापक के ५ पद और दौसा के संस्कृत महाविद्यालय में व्याख्याताओं के ४ पद बनाए हैं । (संस्कृत महाविद्यालय में संस्कृत पर प्रभुतावाले विद्वानों की नियुक्ति होना आवश्यक होते हुए भी केवल तुष्टीकरण के लिए अल्पसंख्यक लोगों की नियुक्ति की योजना बनानेवाली कांग्रेस ! – संपादक) इन पदों को बनाने के लिए भी अल्पसंख्यकों द्वारा कई दिनों से मांग की जा रही थी ।