वाराणसी के भरत मिलाप मैदान के किनारे की शीलापट्ट में लगाए गए रामचरितमानस की चौपाई पर अत्यधिक गंदगी !

हिन्‍दू जनजागृति समिति की ओर से जिलाधिकारी को निवेदन

शीलापट्ट के स्थान पर जमा हुआ कूडा

     वाराणसी – शहर के नाटीइमली स्‍थित भरत मिलाप मैदान के किनारे की शीलापट्ट में पवित्र रामचरितमानस की चौपाई लगाई गई है । ये शीलापट्ट सडक के निकट होने के कारण उन पर जानवरों के मल-मूत्र, सडक की धूल एवं गंदगी निरंतर पडती रहती है । इस कारण इस शीलापट्ट को उक्‍त स्‍थान से शीघ्रातिशीघ्र हटाकर किसी पवित्र स्‍थल पर लगाया जाए इस मांग हेतु यहां के जिलाधिकारी को हिन्‍द़ू जनजागृति समिति द्वारा निवेदन दिया गया । इस समय राष्‍ट्रीय मानवाधिकार एवं न्‍याय परिषद के महासचिव अधिवक्‍ता अरुण कुमार मौर्य, अधिवक्‍ता विकास सेठ, श्री. राहुल सिंह, श्री. शशिकांत मालवीय, हिन्‍द़ू जनजागृति समिति के उत्तर प्रदेश एवं बिहार राज्‍य समन्‍वयक श्री. विश्वनाथ कुलकर्णी तथा श्री. राजन केशरी उपस्थित थे ।

     इस निवेदन में बताया है कि जिस मैदान में प्रसिद्ध भरत मिलाप एवं रामलीला का मंचन होता है, उसी स्‍थान पर प्रभु श्रीरामचंद्र की चौपाईयों का घोर अनादर हो रहा है । पूरे वर्ष में इसी स्‍थान पर ६ से ७ बार व्‍यापारी वर्ग की दुकानों के मेले का आयोजन होता है । उस समय लोगों की भीड अधिक होने के कारण शीलापट्ट के स्थान पर अत्यधिक गंदगी होती है । इसे देखकर आसपास के क्षेत्र के हिन्दू धर्मीय लोगों की धार्मिक भावनाएं प्रतिदिन आहत हो रही हैं । पवित्र रामचरितमानस हमारी ‘सांस्कृतिक धरोहर’ है । यह जीवन के योग्य मार्‍ग पर चलने की दिशा प्रदान करती है एवं धर्माचरण करने की प्रेरणा देती है ।