इस धमकी से स्पष्ट होता है कि, बंगाल में लोकतंत्र पूर्णतः नष्ट हो गया है । राज्य में कानून-व्यवस्था की दयनीय स्थिति को देखते हुए कल यदि इस धमकी के अनुसार कुछ हुआ, तो उसमें आश्चर्य कैसा ? इसीलिए ऐसा कुछ होने से पूर्व ही वहां की सरकार को बरखास्त कर वहां राष्ट्रपति शासन लगा देना चाहिए !
कोलकाता (बंगाल) – बंगाल में अगले वर्ष विधानसभा चुनाव होना है; परंतु उससे पहले ही भाजपा और तृणमूल कांग्रेस के मध्य राजनीतिक संघर्ष आरंभ हो गया है । इसी पृष्ठभूमि पर नाडिया जनपद में एक दीवार पर नागरिकों को धमकानेवाली एक सूचना लिखी गई थी । उसमें बंगाली भाषा में यह लिखा गया था कि ‘तृणमूल कांग्रेस के विरोध में यदि एक भी मत दिया गया, तो यहां रक्त की नदियां बहेंगी । भाजपा को एक भी मत दिया गया, तो उसके परिणाम भुगतने पडेंगे ।’ यह धमकी किसने लिखी है, यह अभी तक स्पष्ट नहीं हो पाया है । इस क्षेत्र में भाजपा के जगन्नाथ सरकार सांसद हैं, तो तृणमूल कांग्रेस के अरिंदम भट्टाचार्य विधायक हैं ।
१. नाडिया में दी गई इस धमकी से पहले १९ दिसंबर की रात में उत्तर २४ परगना जनपद के बरेकपुर में कुछ लोगों द्वारा भाजपा के एक कार्यालय में आग लगा दी गई थी, जिससे इस क्षेत्र में भी तनाव था । इस प्रदेश के तृणमूल कांग्रेस के विधायक शीलभद्र दत्त ने जब गृहमंत्री अमित शहा की उपस्थिति में भाजपा में प्रवेश किया, उसके उपरांत यह घटना घटी ।
२. वर्तमान में भाजपा नेता तथा देश के गृहमंत्री अमित शहा २ दिन की बंगाल यात्रा पर हैं । उन्हें मिदनापुर की सभा को संबोधित भी किया ।