मन में आनेवाले प्रश्‍नों के उत्तर ‘सनातन प्रभात’ से २ – ४ दिनों में मिलना, यह एक आश्‍चर्य !

ऐसी कई घटनाएं हुई है कि मेरे सामने किसी सार्वजनिक कार्य संबंधी प्रश्‍न आया, तो उसका उत्तर २ – ४ दिनों में ही ‘सनातन प्रभात’ से पढने को मिलता है । मुझे इसका आश्‍चर्य होता है । ऐसा होना मैंने कई बार अनुभव किया है । इसके पश्‍चात प्रश्‍न उपस्‍थित होनेपर अब इसकी निश्‍चिति होती है कि २ दिनों में ‘सनातन प्रभात’ में से इसका उत्तर आएगा और वैसा होता भी गया ! अब ऐसी स्‍थिति है कि मुझे काम में कोई भी अडचण नहीं आती । अचरज होता है कि काम में ऐसी प्रगति मैं अनुभव कर रहा हूं । इसका सर्व श्रेय मैं ईश्‍वर को और परात्‍पर गुरु डॉ. आठवलेजी को देता हूं । – श्री. गजानन दीक्षित, विश्‍व हिन्‍दू परिषद, गुहागर, महाराष्‍ट्र.